क्या नौकर अपने मालिक के खिलाफ मानहानि का दावा प्रस्तुत कर सकता है- Legal advice

मालिक और नौकर के संबंध में बड़ा अजीब होता है। जब तक बना रहता है, दोनों एक दूसरे का ध्यान रखते हैं। जब टूटता है तो दोनों एक दूसरे को पसंद तक नहीं करते। मालिक और नौकर के बीच संबंध टूटने का सबसे बड़ा कारण होता है मालिक द्वारा नौकर को कोई ऐसी बात कह देना जो उसे इतनी बुरी लग जाती है कि वह अपनी नौकरी छोड़ने को तैयार हो जाता है। सवाल यह है कि क्या ऐसी किसी बात को आधार बनाकर मालिक के खिलाफ मानहानि का दावा ठोका जा सकता है।

भारतीय दण्ड संहिता, 1860 की धारा 499 (अपवाद क्रमांक 07) की परिभाषा

किसी मालिक द्वारा सदभावनापूर्व नौकर या सेवक पर की गई टिप्पणी या टिका या उसकी आलोचना इस धारा के अंतर्गत अपराध मानहानि का अपराध नहीं हैं। साधारण शब्दों में कहे तो अगर कोई स्वामी अपने सेवक से बीच-बीच में बोलने पर यह कहे कि "तू चुप रह अभी, तब यह मानहानि का अपराध नहीं होगा।

कुल मिलाकर नौकर के कामों की समीक्षा करना एवं उसकी आलोचना करना, मालिक का अधिकार है परंतु इस अधिकार की भी सीमा होती है। इसलिए मालिक के खिलाफ मानहानि का मुकदमा प्रस्तुत करने से पहले किसी अच्छे वकील की सलाह जरूर लेनी चाहिए।
✍️ लेखक:- बीआर अहिरवार(पत्रकार एवं लॉ छात्र होशंगाबाद) 9827737665
भोपाल समाचार से जुड़िए
कृपया गूगल न्यूज़ पर फॉलो करें यहां क्लिक करें
टेलीग्राम चैनल सब्सक्राइब करने के लिए यहां क्लिक करें
व्हाट्सएप ग्रुप ज्वाइन करने के लिए  यहां क्लिक करें
X-ट्विटर पर फॉलो करने के लिए यहां क्लिक करें
फेसबुक पर फॉलो करने के लिए यहां क्लिक करें
समाचार भेजें editorbhopalsamachar@gmail.com
जिलों में ब्यूरो/संवाददाता के लिए व्हाट्सएप करें 91652 24289

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!