CM Sir, मंदसौर में मंत्रियों के लोग ऐसा क्या कर रहे थे जो पांडे सर का ट्रांसफर करना पड़ा - Khula Khat

माननीय शिवराज सिंह जी चौहान
, हम सब जानते हैं कि आप 15 साल तक मुख्यमंत्री के पद पर रहते हुए भी एक अच्छे और सच्चे नागरिक हैं। सत्ता के दोष कुछ लोगों में 15 दिन में आ जाते हैं, आपमें 15 साल में नहीं आए। भले ही पूरी नहीं हो पाती लेकिन आपकी योजनाएं और घोषणाएं अच्छी लगती हैं। आपकी बातों में ईमानदारी नजर आती है, लेकिन आपके कुछ आदेश, आपकी छवि को कलंकित भी करते हैं। मंदसौर से एसपी सुनील कुमार पांडे का इस तरह से ट्रांसफर करना, यहां के आम लोगों को अच्छा नहीं लगा। 

हमने पांडे सर की मांग नहीं की थी। आपने उन्हें मंदसौर संभालने के लिए भेजा था। सुना है आपने उन्हें फ्री हैंड दिया था। रिकॉर्ड उठाकर देख लीजिए, पांडे सर ने अच्छा काम किया है। पुलिस डिपार्टमेंट का सबसे पीछे खड़े रहने वाला सिपाही भी मोटिवेट था। मंदसौर में कानून का पालन किया जा रहा था। हम सबको लग रहा था कि आपने मंदसौर की कई बड़ी समस्याओं का निदान कर दिया है। हमने पांडे सर को भेजने के लिए कोई ज्ञापन नहीं दिया था लेकिन जब उन्होंने काम करके दिखाया तो हमारे मन में आपके प्रति विश्वास बढ़ गया था। 

हम समझ नहीं पा रहे हैं कि सुनील कुमार पांडे सर को इस प्रकार अचानक क्यों बुला लिया गया। क्या आपके पास उनके लिए मंदसौर से भी ज्यादा जरूरी कोई दूसरा काम है। यहां तो कहा जा रहा है कि दो मंत्री आपके पीछे पड़ गए थे। कह रहे थे कि यदि पांडे सर को हटाया नहीं गया तो मंदसौर में भाजपा का सूपड़ा साफ हो जाएगा। हम सिर्फ यह जानना चाहते हैं कि मंदसौर में मंत्रियों के लोग ऐसा क्या कर रहे थे जो उन्हें पांडे सर से इतना डर लग रहा था। इन्हें क्या लगता है, हमारी याददाश्त कमजोर है, जनता से भूल जाएगी। ✒ सत्येंद्र कुमार उपाध्याय

अस्वीकरण: खुला-खत एक ओपन प्लेटफार्म है। यहां मध्य प्रदेश के सभी जागरूक नागरिक सरकारी नीतियों की समीक्षा करते हैं। सुझाव देते हैं एवं समस्याओं की जानकारी देते हैं। पत्र लेखक के विचार उसके निजी होते हैं। इससे पूर्व प्रकाशित हुए खुले खत पढ़ने के लिए कृपया Khula Khat पर क्लिक करें. यदि आपके पास भी है कुछ ऐसा जो मध्य प्रदेश के हित में हो, तो कृपया लिख भेजिए हमारा ई-पता है:- editorbhopalsamachar@gmail.com

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