ग्वालियर। मध्य प्रदेश के ग्वालियर में विधानसभा क्षेत्र के अधिकारियों की बैठक के दौरान मध्य प्रदेश के खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर अचानक उठे और उन्होंने पीएचई के इंजीनियर संदीप श्रीवास्तव के पैर छुए। इसके बाद उन्होंने पीएचडी डिपार्टमेंट के प्रमुख सचिव को फोन लगाया। यह सब कुछ इंजीनियर के सम्मान में नहीं हो रहा था बल्कि उनके बेतुके जवाब के कारण हो रहा था। मंत्री ने प्रमुख सचिव से हाथ जोड़कर निवेदन किया कि ऐसे इंजीनियर को यहां से हटा दिया जाए।
इंजीनियर संदीप श्रीवास्तव को हटाने का निर्देश
बैठक के दौरान मंत्री तोमर ने बदनापुरा सीवर लाइन को लेकर सब इंजीनियर शिशिर श्रीवास्तव से काम शुरू नहीं होने के संबंध में पूछा तो उन्होंने तकनीकी समस्या का हवाला दिया। उनके जवाब से मंत्री संतुष्ट नहीं हुए। वे कुर्सी से उठकर सब इंजीनियर के पास पहुंचे और शिशिर के पैर छू लिए। इस दृश्य को देख सभी अधिकारी हक्के-बक्के रह गए। इसके बाद उन्होंने इंजीनियर संदीप श्रीवास्तव को हटाने के लिए प्रमुख सचिव से तत्काल फोन पर बात की।
स्वर्णरेखा नाले में बालक की मौत के लिए कंपनी जिम्मेदार
प्रदेश के खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर ने शुक्रवार को बाल भवन में ग्वालियर विधानसभा क्षेत्र के सभी अधिकारियों की बैठक ली। मंत्री की चिंता स्वर्ण रेखा नाले में पिछले दिनों डूबे एक बालक की माैत को लेकर ज्यादा दिखाई दी। उन्होंने इसके लिए इनविराड कंपनी पर पुलिस में एफआईआर दर्ज कराने के निर्देश दिए। मंत्री का तर्क था कि यह सब कंपनी और अधिकारियों की लापरवाही की वजह से हुआ है।
सब इंजीनियर नहीं दिखा सका 40 कर्मचारी
मंत्री ने स्वर्ण रेखा मामले में सब इंजीनियर शिशिर श्रीवास्तव से पूछा कि कितने लोग सफाई के काम में लगे हैं। उनका जवाब था, 40 लोगों से काम लिया जा रहा है। मंत्री बोले- आप मुझे 40 कर्मचारी दिखाओ। अभी बुलाकर लाएंं बैठक खत्म हो गई लेकिन कर्मचारी नहीं आए।