पुलिस ने सरकारी कर्मचारी जगदीश बालू के बजाए जगदीश भंवर को जेल भेज दिया | SC-ST ACT

अब्दुल वसीम अंसारी/राजगढ़। एससी एसटी एक्ट के कारण एक बार फिर एक निर्दोष व्यक्ति जेल चला गया और पुलिस की गलती या साजिश का कोर्ट में खुलासा ही नहीं हो पाया। पुलिस ने 29 सितंबर 2019 को sc-st एक्ट के तहत दर्ज की गई FIR के बाद जगदीश पुत्र बालू सिंह की जगह, जगदीश पुत्र भंवर सिंह को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश कर दिया। मामला एससी एसटी एक्ट के तहत दर्ज होने के कारण एक निर्दोष इंसान को जेल भेज दिया गया। एक्ट की दहशत के कारण निर्दोष व्यक्ति अपनी आवाज भी बुलंद नहीं कर पाया। अब मामला दर्ज कराने वाला दलित फरियादी आवेदन लिए घूम रहा है। उसका दावा है की पुलिस ने सही व्यक्ति को गिरफ्तार नहीं किया है।

मामला क्या है

ग्राम करेड़ी में जमीन विवाद में घायल दलित दंपत्ति को एफआईआर के लिए 22 घण्टे भटकना पड़ा था। देर रात तक पुलिस दलित दम्पत्ति की रिपोर्ट लिखने से कतराती रही, लेकिन घटना के लिए एकजुट हुए ग्रामीणों द्वारा विधायक से मिलते ही कोतवाली पुलिस को इस मामले में हाशिये पर आना पड़ा था और अंततः 22 घण्टे बाद 4 नामजद आरोपियों के खिलाफ भादस की धाराओं सहित अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (नृशंस्ता निवारण) अधिनियम की धाराओं के तहत प्रकरण दर्ज किया गया था।

पुलिस ने बालू सिंह के बजाए भंवरलाल के बेटे जगदीश को गिरफ्तार कर लिया

करीब दो माह बाद पुलिस ने कार्रवाई आगे बढ़ाते हुए आरोपियों की गिरफ्तारी कर न्यायालय में पेश किया। जहां से उन्हें जमानत ना मिलने पर जेल भेजा गया लेकिन फरियादी मांगीलाल मालवीय ने पुलिस अधीक्षक को दिए आवेदन में कोतवाली पुलिस पर चौकाने वाले आरोप लगाए। शिकायत के अनुसार अपराध क्रमांक 569/2019 में आरोपी जगदीश पिता बालुसिंह के स्थान पर किसी जगदीश नामक अन्य व्यक्ति को गिरफ्तार कर षड्यंत्र पूर्वक मुख्य आरोपी को बचाया गया। 

सरकारी कर्मचारी को बचाने की साजिश है: फरियादी

फरियादी ने आवेदन देते हुए यह भी बताया था कि मुख्य आरोपी शासकीय कर्मचारी है और उसी ने यह सब मिलीभगत कर खुद को बचाने के लिए किया है। अपनी नौकरी से छुट्टी लेकर खुद गायब है और अपने नाम के दूसरे व्यक्ति को कथित आरोपी बनाकर जेल भिजवा दिया। साथ ही मुख्य आरोपी जगदीश के फोटो भी शिकायत कर्ता ने अपनी शिकायत के साथ संलग्न किए है। इस मामले में सभी दोषियों पर कड़ी एवं दंडात्मक कार्रवाई की जाए। पुलिस अधीक्षक ने मामले को गंभीरता से लेते हुए कार्यवाही के निर्देश भी दिए हैं।

हमने तो भंवरलाल के बेटे जगदीश को आरोपी बनाया है: पुलिस


वही दूसरी ओर थाना कोतवाली राजगढ इस मामले में फरियादी को ही सही जानकारी ना देने का हवाला देते रहें। साथ ही कहा कि फरियादी द्वारा आरोपी जगदीश के पिता का नाम स्पष्ट नही था। हमने जगदीश पिता भंवरलाल को आरोपी बनाया है लेकिन अब आरोपी ने बताया कि जो मुख्य आरोपी जगदीश है उसके पिता का नाम बालूसिंह है। थाना प्रभारी ने बुधवार की गई शिकायत को वरिष्ठ कार्यालय से कोतवाली पहुंचने के बाद आगे की कार्रवाई का आश्वासन दिया। लेकिन सूत्रों के अनुसार खबर लिखे जाने तक पुछताछ के लिए कुछ लोगों को थाने पर बैठाया गया।

फरियादी ने जांच में सहयोग नहीं दिया, जिसका नाम दर्ज था उसे ही पकड़ा है

हमने फरियादी से कई बार मारपीट की घटना के वीडियो आदि साक्ष्य मांगे लेकिन उन्होंने सहयोग नही किया। अब ये आरोप लगा रहे है, जबकि इस मामले में दोनों व्यक्तियों के नाम समान है और पिता के अलग-अलग है। फिर भी वरिष्ठ कार्यालय से शिकायत पर हमे मिले निर्देशों के तहत कार्रवाई करेंगे।
जेबी राय, थाना प्रभारी
कोतवाली राजगढ

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