भोपाल। राजीव गांधी प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (RAJIV GANDHI PROUDYOGIKI VISHWAVIDYALAYA - RGPV) ने संबद्ध सभी सरकारी व प्राइवेट कॉलेजों लिए गाइडलाइन (GUIDELINE FOR ALL AFFILIATED GOVERNMENT AND PRIVET COLLEGE) जारी कर दी है। यह गाइडलाइन सरकारी और निजी इंजीनियरिंग, फार्मेसी, मैनेजमेंट और दूसरे प्रोफेशनल कोर्सेस का संचालन करने वाले कॉलेजों पर लागू होगी।
गाइडलाइन में प्रमुखता के साथ लिखा गया है कि कॉलेजों में विद्यार्थियों को सुरक्षित माहौल देने और उनकी गतिविधियों की निगरानी सीसीटीवी कैमरे से करने के लिए कॉलेज कैंपस और हॉस्टल में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे। गाइडलाइन में विद्यार्थियों के अभिभावक, फैकल्टी स्टॉफ और डायरेक्टर की समिति बनाने का प्रावधान किया गया है।
इस समिति में 75 प्रतिशत सदस्य विद्यार्थियों के माता-पिता को बनाया जाए ताकि समिति की बैठकों में विद्यार्थी अपनी परेशानियां समिति के सामने रख सकेंगे। विद्यार्थियों की हरकतों से फैकल्टी द्वारा अभिभावकों को अवगत भी कराया जा सकेगा। इसके अलावा गाइडलाइन में कॉलेज संचालकों को हॉस्टल और कॉलेज कैंपस में नाइट विजन, फेस डिटेक्शन, आईपी कनेक्ट कैमरे लगाने कहा गया है।
कॉलेज और हॉस्टल में आने-जाने के समय का रिकॉर्ड रखें
कॉलेज और हॉस्टल के प्रवेश द्वार पर 24 घंटे और सातों दिन सुरक्षाकर्मी की ड्यूटी सुनिश्चित करें। साथ ही हॉस्टल में विद्यार्थियों के आने और जाने के समय का रिकॉर्ड रखा जाए। हॉस्टल में विद्यार्थियों के आने और जाने का समय निश्चित किया जाए। हॉस्टल में विद्यार्थियों को सातों दिन और 24 घंटे आने-जाने की सुविधा कतई न दी जाए, ताकि हॉस्टल में विद्यार्थियों को अकादमिक-अनुशासित माहौल मिले। इसके अलावा हॉस्टल और कॉलेज में विद्यार्थियों से मिलने आने वालों का रिकॉर्ड रजिस्टर बनाया जाए। इस रजिस्टर में विद्यार्थियों से मिलने आए व्यक्ति का नाम, पता और मोबाइल नंबर दर्ज करने की जिम्मेदारी सुरक्षा गार्ड को दी जाए।
कर्मचारी की एक्टिविटी संदिग्ध होने पर पुलिस को बताएं
संस्थान के कर्मचारी की एक्टिविटी संदिग्ध दिखने पर कॉलेज संचालक और प्राचार्य उसे सीधे नौकरी से नहीं निकालें बल्कि नौकरी से निकालने से पहले पुलिस को उसकी गतिविधियों के बारे में जानकारी दें। उसका वेरिफिकेशन जरूर कराएं।
गाइडलाइन में यह भी हैं निर्देश
हॉस्टल में आपातकाल दरवाजे हों। आग लगने की स्थिति में अग्निशामक साधनों का समय समय पर उपयोग होना चाहिए। छात्रों, शिक्षकों एवं सभी कर्मचारियों का अलग से ड्रेस कोड व पहचान पत्र होने चाहिए। छात्रावासों की सुरक्षा एवं देखरेख महिला वार्डन को दी जानी चाहिए।