भोपाल। मप्र कांग्रेस कमेटी की तरह अब युवक कांग्रेस में भी 1 प्रदेश अध्यक्ष और 4 कार्यकारी अध्यक्ष समेत 1 जन आंदोलन समिति का चेयरमैन बनाए जा सकते हैं। फिलहाल यह सबकुछ चर्चाओं और सुझावों में ही है परंतु युवक कांग्रेस के पदों पर नजर जमाए नेताओं ने इस फार्मूले को हाईकमान तक पहुंचाना शुरू कर दिया है। युवा कांग्रेस की भोपाल में हुई बैठक में राष्ट्रीय प्रभारी कृष्णा आलूवेला ने भी ऐसे संकेत दिए थे। बता दें कि पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह अपने विधायक बेटे जयवर्धन सिंह को युवक कांग्रेस का प्रदेश अध्यक्ष बनाना चाहते हैं जबकि वर्तमान में कमलनाथ के नजदीकी युवा नेता कुणाल चौधरी इस पद पर हैं।
सवाल उठता है कि नए कार्यकारी अध्यक्षों की नियुक्ति के बाद उनकी भूमिका क्या होगी। बताया गया है कि उनका कार्य विभाजन प्रदेश को चार जोन में विभाजित कर किया जाएगा। इससे संगठन बूथ स्तर पर मजबूत हो सके। चूंकि अभी मुख्य कांग्रेस में चार कार्यकारी अध्यक्षों में कार्य विभाजन नहीं हुआ है, इसलिए युवा कांग्रेस के प्रस्तावित चार कार्यकारी अध्यक्षों की भूमिका तय होने में समय लग सकता है।
युवा कांग्रेस में दो साल से चुनाव लंबित
युवक कांग्रेस में पदों के दावेदार कहते हैं कि प्रदेश में बीते दो सालों से युवा कांग्रेस संगठन के चुनाव लंबित हैं, जिससे संगठन की भूमिका सिर्फ धरना प्रदर्शन तक ही सीमित हो गई है। मैदानी स्तर पर युवा कांग्रेस की सक्रियता नजर नहीं दिखाई देती है। चूंकि केशव चंद्र यादव एक दिन पहले ही युवा कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष बने हैं, वे मध्यप्रदेश के इंचार्ज जनरल सेक्रेटरी भी रह चुके हैं। इसलिए आगामी दिनों में मध्यप्रदेश युवक कांग्रेस संगठन में व्यापक बदलाव की संभावना है।
प्रदेश कांग्रेस कमेटी की कार्यकारिणी 15 मई को
प्रदेश कांग्रेस में भी कार्यकारिणी के गठन की प्रक्रिया तेज हो गई है। 14 और 15 मई को नईदिल्ली में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ और प्रभारी महासचिव दीपक बावरिया के बीच कार्यकारिणी के गठन की रूपरेखा तय होगी। यह कार्यकारिणी छोटी होगी। उल्लेखनीय है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ यह बात कह चुके हैं कि जो लोग भी चुनाव लड़ने के इच्छुक हैं, उन्हें कार्यकारिणी में स्थान नहीं दिया जाएगा।