भोपाल। मध्यप्रदेश पटवारी परीक्षा में शामिल हुए 10 लाख उम्मीदवार शिवराज सिंह सरकार से नाराज हो गए हैं। दरअसल, पटवारी परीक्षा के परिणाम नार्मलाईजेशन पद्धति से बनाए गए। उम्मीदवारों को यह मंजूर नहीं। उनका कहना है कि इससे पहले उम्मीदवारों को विश्वास में लेना चाहिए था। आरोप है कि एक प्राइवेट कंपनी कैसे परीक्षा परिणाम तय कर सकती है। यदि सबकुछ प्राइवेट कंपनियों को ही करना है तो सरकार क्या करेगी।
बता दें कि प्रोफेशनल एग्जामिनेशन बोर्ड द्वारा 9000 से अधिक रिक्त पदों के लिए भर्ती प्रक्रिया जारी की गई थी। इसमें 10 लाख से ज्यादा उम्मीदवारों ने भाग लिया। मप्र के इतिहास में यह सबसे बड़ी आॅनलाइन परीक्षा थी। चौंकाने वाली बात यह है कि परीक्षा के आयोजन में पीईबी का कोई योगदान नहीं था। एक प्राइवेट कंपनी के सर्वर पर सारा डाला अपलोड हुआ। उम्मीदवारों को पेपर पूरा करते ही उनकी स्क्रीन पर नंबर दिखाई दे गए थे परंतु जब रिजल्ट आया तो काफी गड़बड़ियां थीं। बताया गया कि परीक्षा परिणाम नार्मलाईजेशन पद्धति से किया गया है। बस इसी बात पर उम्मीदवाद भड़क गए।
पढ़िए ट्वीटर पर क्या क्या लिखा है उम्मीदवारों ने
----------Normalization तो हम करेंगे— गबरू रोमियों #HTL (@paaglpanti) March 30, 2018
मिलकर bjp का ऐसा नाँर्मलाईजेशन होगा कि,
165 सीट से सीधे 50 सीट पर आ जायेगी|
तब पता चलेगा कि आखिर नाँर्मलाईजेशन होता क्या है@CMMadhyaPradesh @BhopalSamachar
----------------क्रिकेट का डक वर्थ लईस नियम— RUDRA JITENDRA #रुद्र (@rudra_jitendra) March 29, 2018
और
व्यापमं का नार्मलाइजेशन
एक ही वैज्ञानिक की खोज है।
😤😤😏😏😢@PEB_Bhopal @CricketNDTV @DrKumarVishwas @rahatindori
-------------सर व्यापमं की पटवारी भर्ती में परीक्षा में हुए नार्मलाईजेशन घोटाले की भी जांच की मांग कीजिये।— Saras 🇮🇳 (@TheSarasJain) March 29, 2018
------------दो उदाहरण नार्मलाइजेशन के आप समझ सकते है, की अंक बढ़ाने या घटाने से पेपर का लेवल सेट हो रहा था या कुछ और।।😢😢 pic.twitter.com/f2HIjOJ5Od— 🦂पूर्णेय्या पण्डित 🐦 (@PurneshUpadhyay) March 28, 2018
आपको, नार्मलाइजेशन से पहले हर केंडिडेट को विश्वास में लेना था कि उनके भविष्य के साथ खिलवाड़ नही होगा,अपना मार्किंग सिस्टम प्राइवेट कम्पनी के भरोसे कैसे छोड़ सकते हो, वास्तविक अंक जो उसने एक्जाम के समय,और अंक नार्मलाइज्ड कैसे किया, रिजल्ट के साथ शो करना चाहिए थे @ChouhanShivraj— 🦂पूर्णेय्या पण्डित 🐦 (@PurneshUpadhyay) March 27, 2018