मारे गए सैनिकों को शहीद नहीं मानती सरकार: केंद्रीय गृह राज्यमंत्री

नई दिल्ली। सरकार ने मंगलवार को बताया कि कार्रवाई के दौरान मौत होने पर वह किसी भी सुरक्षाकर्मी को ‘शहीद’ घोषित नहीं किया जाता. 'शहीद' जैसा शब्द भारतीय सेना और पैरा मिलिट्री के मारे गए जवानों के लिए स्तेमाल नहीं किया जा सकता है.

यह बात केंद्रीय गृह मंत्रालय ने लोक सभा में मंगलवार को बताई. केंद्रीय गृह राज्यमंत्री किरेन रिजीजू ने लोकसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में बताया कि "रक्षा मंत्रालय ने गृह मंत्रालय को बताया है कि अगर कोई जवान किसी ऑपरेशन के वक्त मारा जाता है तो उसके लिए शहीद जैसा शब्द सेना में इस्तेमाल नहीं किया जा सकता.'' उन्होंने कहा कि इसी प्रकार केंद्रीय सशस्त्र बलों और असम राइफल्स के कर्मी भी अगर किसी अभियान या कार्रवाई में मारे जाते हैं तो ऐसे किसी शब्द का उल्लेख नहीं किया जाता है.

शहीद शब्द का इस्तेमाल न करने के पीछे कारण यह है कि न तो पुलिस मेन्युअल में और न ही सेना के कानून में इसका प्रावधान है. हालांकि गृह राज्यमंत्री का कहना है कि मारे गए जवानों के परिवार या करीबी संबंधी को नियमों के अनुरूप पूरी पेंशन और एक मुश्त अनुग्रह राशि दी जाती है.
Tags

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!