
उन्होंने बताया कि वीआईपी ट्रीटमेंट से कहीं ज्यादा उन्हें ये स्लीपर क्लास पसंद है जहां लंबी दूरी के कारण अधिक भीड़ नहीं होती। उन्होंने कहा, 'मैं ट्रेन के स्लीपर क्लास में सफर करना पसंद करता हूं क्योंकि विशेष रूप से लंबी दूरी की यात्रा में इस क्लास में ज्यादा भीड़-भाड़ नहीं होती और मैं इस बहाने लोगों से मिल लेता हूं।'
बता दें कि कुछ हफ्ते पहले सांसदों के एक ग्रुप ने एयरलाइंस से विशेष दरों पर सीटें, वीआईपी लाउंट की उपलब्धता और बोर्डिंग के दौरान विशेष सहायता का अनुरोध किया था।
यह पहला मौका नहीं है जब चांडी को इस तरह से बिना किसी सिक्युरिटी के देखा गया है। मई में उनको कोल्लम से राजधानी तक बस में सफर करते देखा गया था। चांडी किसी राजनीतिक बैठक में हिस्सा लेने तिरुवनंतपुरम जा रहे थे। जब चांडी मुख्यमंत्री थे, तब एक बार उन्हें खड़ी ट्रेन से अकेले बिना किसी सिक्युरिटी गार्ड के उतरते हुए देखा गया और उनकी तस्वीरें खींची गई थीं।
मई में ओमान चांडी के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार की हार हुई थी और सत्ता में वामदलों के गठबंधन की वापसी हुई थी और उनकी जगह एलडीएफ के पी. विजयन ने ली। चांडी ने इससे पहले तिरुअनंतपुरम तक का 70 किमी सफर बस से तय किया है।