मोदी अंकल, मेरी स्कूल बस छोड़ दो प्लीज़..... | प्रधानमंत्री के नाम 8वीं के स्टूडेंट का खुलाखत

श्री नरेंद्र मोदी जी
प्रधानमंत्री
भारत सरकार , नई दिल्ली
आदरणीय मोदी अंकल,
प्रणाम,
मुझे आज क्लास में मेरी टीचर ने बताया कि 9 और 10 अगस्त को स्कूल बस नहीं आएगी। मैंने पूछा क्यों ? टीचर ने बताया कि आप मध्यप्रदेश के अलीराजपुर जिले में शहीद चंद्रशेखर आज़ाद की जन्मस्थली भाभरा में भारत छोडो आंदोलन की 75 वीं वर्षगांठ के उपलक्ष्य में एक संभा को संबोधित करने आ रहे हैं, जिसमें भीड़ ले जाने के लिए कलेक्टर ने स्कूल बस ले ली है। पर मोदी अंकल मुझे तो पता है कि आपको सुनने के लिए तो लोग स्वयं के साधन से, स्वयं के खर्च पर हर जगह पहुंचते हैं। चाहे देश हो या विदेश, सभी जगह आपको सुनने के लिए भारी भीड़ इकठ्ठा होती है। मैंने तो टीवी पर आपको अमेरिका में भी भाषण देते देखा था वहां भी बहुत भीड़ थी। मुझे पता है कि वहां तो लोग आपको सुनने स्कूल बस में बैठकर नहीं पहुंचे थे। मुझे तो यह भी पता है कि चुनाव के समय आपको सुनने के लिए लोग पैसे देकर सभागृह में पहुचते थे। 

अंकल मैं आपका बड़ा फैन हूं, रेडियो पर आपकी मन की बात सुनना कभी मिस नहीं करता। आपको लेकर मेरी अपने दोस्तों से लड़ाई तक हो जाती है जो आपको नाटक कंपनी बताते हुए मुझे चिढ़ाते हैं कि आपकी सभा में भीड़ इकट्ठी नहीं होती सरकारी वाहनों में ढो कर लाई जाती है। मैंने इस वज़ह से कुछ दोस्तों से बात ही बंद कर दी है। पर अंकल अब मुझे अपनी दोस्तों की बात सही लगने लगी है, क्योंकि जब पिछली बार जब आप सीहोर-विदिशा आये थे, तब भी मेरी स्कूल बस दो दिन नहीं आई थी। मैंने बस वाले अंकल से कहा कि हमारी बस तो बच्चों के लिए है न ! उसमें दूसरे लोगों को क्यों बैठा रहे हो ? तो वो कहने लगे बेटा, "कलेक्टर और आरटीओ के ऑर्डर हैं, नहीं मानेंगे तो बस बंद करवा देंगे। ज्यादा चीं-पों की तो स्कूल भी बंद करवा देंगे शिवराज मामा !"

क्या सच में मेरी बस बंद करवा देंगे वे ? क्या मेरी स्कूल भी बंद हो जाएगी यदि कलेक्टर की बात नहीं मानी तो...? अंकल मेरी स्कूल बस नहीं आई तो दिन मैं स्कूल कैसे जा सकूंगा। मेरे तो पापा भी बाहर गए है जो मुझे बाइक से छोड़ देते, घर पर बस मम्मी और दीदी हैं। बताओ अब कैसे स्कूल जाऊंगा मैं ? क्या मेरी पढ़ाई से ज्यादा जरूरी आपकी सभा में लोगो को भिजवाना है ? मोदी अंकल आप तो कांग्रेसी नेताओं जैसे नहीं हो न... आपको तो हमारी, पढ़ाई और भविष्य की चिंता है न। प्लीज़ आप शिवराज मामा से बोल दो न कि आपकी सभा के लिए स्कूल बसों में लोगों को ढोकर लाने की ज़रूरत नहीं। आपके तो भाषण में इतना दम है की लोग खुद-ब-खुद खींचे चले आएंगे। आपने ऐसा किया तो फिर मैं अपने दोस्तों को ताल ठोककर कह सकूंगा कि मेरे मोदी अंकल की सभा में भीड़ जुटती है जुटायी नहीं जाती।''

थैंक्यू
आपका
देवांश जैन (क्लास - 8)
If you have any question, do a Google search

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!