
जिस वक्त ये घटना हुई, मंदिर में काफी श्रद्धालु मौजूद थे। इस वजह से कुछ देर मंदिर में अफरा-तफरी मच गई। समिति के लोगों ने दोनों को किसी तरह अलग कर मामला शांत कराया। इसके बाद मंदिर समिति के प्रशासक आरपी तिवारी ने दोनों को कारण बताओ नोटिस जारी किए हैं। उन्होंने बताया कि दोनों मंदिर के अधिकृत 16 पुजारी व 21 पंडों में शामिल नहीं, बल्कि उनके सहयोगी हैं। नोटिस का जवाब आने के बाद कार्रवाई की जाएगी।