महाराजगंज। नेपाल बॉर्डर से यूपी के महाराजगंज में घुस आई उज्बेकिस्तान की महिला को यूपी पुलिस ने गिरफ्तार किया था। आरोप था कि महिला बिना वीजा के आई थी। महिला को जेल में डाला गया लेकिन सलाखों के पीछे अपने जुर्म की सजा भुगतने वाली उस महिला को ये पता नहीं था कि सजा के रखवाले भी गुनाहों को अंजाम दे सकते हैं।
आरोप है कि डिप्टी जेलर डीएन गुप्ता ने कारागार में ही मौका पाकर विदेशी महिला के साथ दुष्कर्म किया।पीड़िता को जनवरी 2015 में गिरफ्तार किया गया था जिसे दिसंबर में छोड़ दिया गया लेकिन उसने कारागार में अपने ऊपर हुए जुल्म के खिलाफ पैरवी जारी रखी और गुनहगार जेलर को घर से ही पुलिस की टीम ने धर दबोचा।
आरोप सही साबित होने पर जेलर को पद से पहले ही निलंबित किया जा चुका है। डिप्टी जेलर डीएन गुप्ता को पुलिस ने देवरिया के मुजहना से गिरफ्तार कर बुधवार को जेल भेज दिया।
एसपी भारत सिंह यादव ने प्रेसवार्ता में बताया कि तीन जुलाई को उज्बेक महिला ने तत्कालीन डिप्टी जेलर पर दुष्कर्म, छेड़छाड़ समेत कई धाराओं में केस दर्ज कराया था। एसआई अनुज कुमार सिंह की जांच में पाया गया कि महिला ने डिप्टी जेलर पर जो आरोप लगाए हैं वे सही हैं। इसी बीच पीड़ित को सिद्धार्थनगर जेल स्थानांतरित कर दिया गया था, जहां सीओ रचना मिश्रा ने महिला के बयान दर्ज किए थे।
मंगलवार देर शाम सीओ रचना मिश्र के नेतृत्व में स्वॉट टीम प्रभारी महेंद्र प्रताप चतुर्वेदी, हेड कांस्टेबल नरेन्द्र कुमार राय, सिपाही गयादीन प्रसाद, सदरे आलम और सत्येन्द्र शुक्ला की टीम ने निलंबित डिप्टी जेलर डीएन गुप्ता को उनके पैतृक गांव नरहर पड़री थाना तरकुलवा जिला देवरिया के निकट के गांव मुजहना से गिरफ्तार कर लिया। एसपी ने इस टीम को पांच हजार रुपये ईनाम देने की घोषणा की है।