नईदिल्ली। हाथ में गन लेकर फोटो वायरल करने वाले हार्दिक पटेल अपने समाज को आरक्षण तो नहीं दिला पाए परंतु गुजरात पुलिस ने उसकी सलाखें जरूर रिजर्व कर दीं। देशद्रोह जैसा गंभीर मुकदमा ठोकने के बाद अब हार्दिक पटेल के खिलाफ डकैती का मामला भी दर्ज कर लिया गया है।
पाटीदार अनामत आंदोलन समिति के संयोजक हार्दिक पटेल की मुसीबतें और बढ़ने के आसार हैं. हाल ही में उन्हें सूरत पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया गया। हजीरा पुलिस स्टेशन में चली 8 घंटे लंबी पूछताछ के बाद उन्हें कोर्ट में पेश किया गया अौर अदालत ने उन्हें शुक्रवार तक के लिए पुलिस हिरासत में भेज दिया।
हार्दिक पर लगे देशद्रोह के चार्ज कथित तौर पर उनके 3 अक्टूबर के भड़कीले बयानों की वजह से लगे थे जिनमें उन्होंने पाटीदारों को उकसाया कि वो आत्महत्या करने कि बजाय पुलिसवालों को मारें लेकिन अब एक और मसला सामने आया है। मेहसाना डिस्ट्रिक्ट में हार्दिक के खिलाफ 3 और शिकायतें दर्ज हुई हैं। बेचराजी और मोढेरा में एक सार्वजनिक अधिसूचना का उल्लंघन करने में उनका हाथ बताया जा रहा है। यही नहीं, विसनगर पुलिस ने एक डकैती के लिए जिन उपद्रवियों पर चार्ज लगाया है, उनके कनेक्शन भी हार्दिक के साथ बताए जा रहे हैं।
बात यहीं खत्म नहीं होती है। 23 जुलाई को एक पाटीदार रैली के दौरान फूटी हिंसा और बर्बरता में भी हार्दिक का हाथ है। विसनगर पुलिस इंस्पेक्टर एम एस वाघेला के हिसाब से हिंसा के दौरान उपद्रवियों ने मीडिया वालों के कैमरे भी छीनकर तोड़ दिए। मेहसाना पुलिस ने कहा है कि वो ट्रांसफर वारंट के जरिए सूरत पुलिस से हार्दिक की कस्टडी चाहते हैं। उनके पास हार्दिक के ऊपर डकैती का केस लगाने के लिए काफी सबूत हैं। हार्दिक की कस्टडी लेने के लिए उन्होंने कोर्ट में एक ट्रांसफर वारंट की अपील भी कर दी है।