भोपाल। होशंगाबाद रोड पर हुए गैस रिसाव ने एक बार फिर त्यौहार के रोज भोपाल को दहशतज़दा कर दिया। 84 का गैसकांड आखों के सामने से घूम गया। लोग देररात तक सहमे हुए हैं परंतु भोपाल के महापौर रक्षाबंधन उत्सव में व्यस्त रहे। इस मामले की जांच के आदेश जरूर जारी किए परंतु मौके पर पहुंचकर हालात नियंत्रित करने का प्रयास नहीं किया।
यह अपने आप में शर्मनाक और खतरनाक है कि जिस समय गैस रिसाव हो रहा था, मौके पर एक भी जनप्रतिनिधि या अधिकारी नहीं था। सबसे पहले यहां एक पुलिस की जीप आई जिसमें दो पुलिसवाले थे। जीप सीधे प्लांट में घुस गई और थोड़ी देर बाद पुलिसवाले जीप छोड़कर भागते हुए दिखाई दिए।
मौके पर एक के बाद एक लगातार 20 दमकल वाहन पहुंचे परंतु दमकल कर्मियों के पास कोई सुरक्षा उपकरण नहीं थे। गैस के रिसाव को रोकने के प्रयास में 6 कर्मचारी चपेट में आ गए। एक की हालत गंभीर बताई जा रही है। करीब 3 घंटे तक मौके पर ना तो नगरनिगम के महापौर आलोक शर्मा पहुंचे और ना ही कमिश्नर तेजस्वी। सबकुछ मैदानी कर्मचारियों के हवाले था। पता चला है कि महापौर आलोक शर्मा सीएम हाउस में ड्यूटी बजा रहे थे। याद दिला दें कि ऐसे हालात में महापौर का मौके पर होना जरूरी माना जाता है। यह उसकी नैतिक जिम्मेदारी है।