सिंगरौली गैंगरेप: प्रतिबंध के बावजूद डॉक्टरों ने किया टू फिंगर टेस्ट

shailendra gupta
सिंगरौली। सिंगरौली के बैढ़न में रविवार को हुए सामूहिक दुष्कर्म मामले में अंसेवदनशील व्यवस्था की शर्मनाक करतूत सामने आई है। घटना की जांच के लिए गठित मेडिकल टीम के डॉक्टरों ने जहां "अमानवीय" तरीका इस्तेमाल किया वहीं, पुलिस ने गैंगरेप की कथिततौर पर पुष्टि न होने पर डॉक्टरों द्वारा दी गई रिपोर्ट के गोपनीय अंश प्रेस को जारी कर पीडित परिवार की पीड़ा बढ़ा दी है।

विदित हो कि सुप्रीम कोर्ट ने दुष्कर्म की पुष्टि के लिए टू फिंगर टेस्ट को अमानवीय करार दिया था। डॉक्टरों ने इसी विधि का इस्तेमाल किया। परिजनों ने भी टू फिंगर टेस्ट की पुष्टि की है। उधर, पीडिता की हालत में सुधार है।

मामले में अब तक चार आरोपी गिरफ्तार हो चुके हैं। जांच में दुष्कर्म की पुष्टि न होने का दावा करते हुए पुलिस दोबारा परीक्षण के लिए पीडिता को रीवा मेडिकल कॉलेज भेज रही है। पुलिस के प्रेस नोट में डॉक्टरों की रिपोर्ट के वो अंश भी हैं, जिसका उल्लेख करना पीडिता की निजता पर हमले जैसा है। पुलिस ने रिपोर्ट से यह बताने की कोशिश की है कि दुष्कर्म की पुष्टि नहीं हो रही है।

धो दिए गए सुबूत
सिद्दीकी ट्रैवल्स की जिस बस (एमपी 66 पी 0152) में पीडिता थी वह बैढ़न के अब्दुल हफीज सिद्दकी के नाम पंजीकृत है। घटना के बाद बस धोने की बात सामने आई है। मीडिया ने बस की पड़ताल में पाया, अंदर का प्लेटफार्म धोने के साथ सीटों की भी सफाई की गई है। वहीं, एएसपी संजीव सिन्हा ने कहा, बस की एफएसएल जांच कराई जाएगी। आईजी, महिला सेल जबलपुर ऋचा प्रज्ञा श्रीवास्तव और आईजी रीवा पवन श्रीवास्तव सोमवार देर रात सिंगरौली पहुंच रहे हैं।

कोर्ट में आज पेश होंगे आरोपी
रविवार को सिंगरौली में दरिंदगी का शिकार 14 वर्षीय दलित किशोरी के सिर में घातक चोट है पर डाक्टरों के मुताबिक हालत में सुधार हो रहा है। पीडिता की शिकायत पर बैढ़न थाने के अस्पताल चौकी में पुलिस ने वीरबली वैश्य पिता रामविशाले वैश्य उम्र 22 साल, निवासी बरहपान, रामभजन पिता कालिका 24, छोटे उर्फ शत्रुघ्न पिता जमाहिरलाल 23 दोनों निवासी उर्ती व जुम्मा शेख पिता आदम 28 साल निवासी करौटी को गिरफ्तार किया है। जिन्हें मंगलवार को कोर्ट में पेश किया जाएगा।

पीडिता ने फिर बयां किया दर्द
पीडिता सोमवार को भी अपने बयान पर कायम रही। उसने उप एसपी महिला सेल, निरीक्षक अर्चना द्विवेदी के समक्ष घटना बयान किया। उसने बताया, वह रविवार को तीन बजे बलियरी स्थित अंबेडकर तिराहे पर बस के इंतजार में खड़ी थी उसी समय सिद्दीकी टै्रवल्स की बस आई और वह उसमें सवार हो गई थी। बस में पांच अन्य लोग सवार थे। कुछ दूरी बाद ही उनमें से दो लोग उससे छेड़छाड़ करने लगे। चीखने-चिल्लाने पर रास्ते में बस को खड़ा किया और तीन लोग जबरन बस से उतारकर जंगल ले गए और मुंह दबाकर गलत काम किया।

वापस आने के बाद बस चली और उसके गांव जलहथनी से पहले ही चलती बस से फेक दिया जिससे सिर पर चोट आई। पीडिता की मां सहित परिवार के अन्य सदस्यों ने भी यही बयान दिया है। दूसरी ओर, पीडिता के पिता के बडे भाई ने कहा, किशोरी जलहथनी में ही थी। जबकि उसकी पत्नी ने पति के बयान को गलत बताते हुए कहा कि किशोरी बैढ़न स्थित बुआ के घर गई थी और लौटते समय दरिंदगी की शिकार हुई।

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