ग्वालियर। 21 दिसंबर 2004 को हुए बहुचर्चित स्कूल संचालक राजकुमार भागचंदानी हत्याकांड को आज लगभग 9 साल होने को आए, उनके घर में घुसकर दो बदमाशों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी।
बीते इन 9 सालों में 8 एसपी कमान संभाल चुके हैं, लेकिन इस हत्याकांड की गुत्थी आजतक नहीं सुलझ पाई। इस बीच हत्याकांड से जुड़े गवाह चैकीदार की संदिग्ध हालातों में मौत हो गई। सीआईडी के पास भी मामला गया, लेकिन आज भी यह मामला रहस्यमय बना हुआ है। चश्मदीद गवाह चैकीदार को भी रास्ते से हटा दिया गया। दूसरी गवाह महिला कर्मचारी जो बदमाशों को बैडरूम में भागचंदानी से बात करते समय चाय देकर आई थी। पूंछताछ में वह बदमाशों के बारे में ज्यादा नहीं बता सकी।
पुलिस अधीक्षक गाजीराम मीणा के समय में घटना हुई थी, उसके बाद मनमीतसिंह नारंग, संजीव शमी, बीके सूर्यवंशी, ए सांई मनोहर, मकरंद देउस्कर तथा जीके पाठक एसपी रहे सभी ने कार्यभार संभालने से पहले हत्याकांड का राजफाश करने का दावा किया, लेकिन पर्दा नहीं उठ सका। झांसी रोड़ थाना क्षेत्र के यादव काॅलौनी में उनके घर सुबह 9 बजे दो बदमाश बाइक से पहुंचे। चैकीदार ने पूंछताछ कर राजकुमार को उनके आने की सूचना दी, इस दौरान घर की महिला कर्मचारी ने दोनों को चाय दी।
कुद देर बाद गोलियों की आबाज आती है चैकीदार व महिला कर्मचारी अंदर जाकर देखते हैं, तो राजकुमार लहुलहान हालत में मृत पड़े थे। वर्तमान पुलिस अधीक्षक से लोगों की आशाऐं हैं कि इस हत्याकांड की गुत्थी सुलझायेंगे।
फर्जी काॅलों से परेशान 108
ग्वालियर। घायलों और डिलेवरी के लिये पीडि़ता को अस्पताल पहुंचाने के लिए आपात स्थिति में अपनी अहम भूमिका निभाने वाली एम्बुलेंस को मुख्य कंट्रोल रूम में पिछले दो साल में 50 हजार से ज्यादा फर्जी फोन मात्र एक दर्जन फोन नम्बरों द्वारा किए गए हैं, कंट्रोल रूम प्रबंधन द्वारा पुलिस को शिकायत करने के बाद भी कुल एक दर्जन फोन टेªस नहीं हो पाये हैं, जो अपने आप में लापरवाही को दर्शाता है, पुलिस की लापरवाही का फायदा उठाकर कुछ चंदलोग पूरे सिस्टम को अस्त-व्यस्त कर रहे हैं। फोनों से अश्लील बातें महिला कर्मियों से करना गाली गलौज करना गलत जानकारी देकर घटना बताना आदि तरह-तरह से तंग करते हैं, कंट्रोल रूम में प्रतिदिन 10 से 15 हजार काॅल सहायता के लिये पहुंचते हैं, जिसमें से करीब 600 से 700 फर्जी रहते हैं, 16 जुलाई 2009 को शुरू होने वाली इस सेवा से हजारों लोगों को चिकित्सा सहायता मिली है। लेकिन कुछ असामाजिक तत्व इसे मनोरंजन का माध्यम समझकर महत्वपूर्ण सेवा को बाधित कर रहे हैं, ऐसे लोगों पर कड़ी कार्यवाही की मांग उठी है ताकि जरूरतमंद मरीजों एवं डिलेवरी के लिये जाने वाली महिलाओं को उक्त सेवा का पूरा लाभ मिल सके।
मुक्तिधाम की जमींन पर अतिक्रमण
ग्वालियर। जमींन माफिया द्वारा मुक्तिधामों के लिये आरक्षित जमींनों पर कब्जे कर उन्हें सांठगांठ कर अपने नाम से रिकाॅर्ड में दर्ज कराने के प्रयास जारी हो गये हैं, इसके चलते डबरा, पिछोर के मुक्तिधाम पर कब्जा करने की शिकायत संबंधित अधिकारियों जिला प्रशासन, नगर पंचायत, सीएमओ से की है, शिकायतकर्ताओं ने जमींन की माप कराकर मुक्तिधाम की जमींन को मुक्त कराने की मांग की है, डबरा, पिछोर कस्बे में मुक्तिधाम की कई बीघा जमींन है, इस पर योजनाबद्ध ढंग से कुछ लोग कब्जाकर जमींन को खुर्द-बुर्द करना चाहते हैं, जिला प्रशासन एवं नगर पंचायत तथा संबंधित सीएमओ से नागरिकों ने सभी मुक्तिधामों की जमींन को अतिक्रमणकारियों से मुक्त कराकर सीमांकन कराने की मांग की है।
व्यापम घोटाले को लेकर कांग्रेस ने फूंका पुतला
ग्वालियर। व्यापम घोटाले की निष्पक्ष जांच करने एवं दोषी नेताओं और उनके स्टाॅफ को गिरफ्तार करने की मांग को लेकर महाराज बाड़े पर कांग्रेसियों ने मैदान में आकर भाजपा सरकार का पुतला दहन किया। शहर कांग्रेस अध्यक्ष डाॅ0 दर्शनसिंह ने व्यापम घोटाले पर कहा कि इतना बड़ा धोखा छात्रों के साथ होने पर सरकार ने दोषियों को बचाने का प्रयास किया। इससे स्पष्ट है कि इसमें बड़े लोग भी शामिल हैं, प्रदेश में व्यापम घोटाले को लेकर भाजपा नेत्री उमा भारती भी बिहार के चारा घोटाले से बड़ा बता चुकी हैं। फिर सरकार उसकी सीबीआई जांच क्यों नहीं करा रही ? पुतला दहन में अशोक जैन, वीरेन्द्र यादव, कुलदीप कौरव, समीर खाँन रवि पाल, वीरेन्द्र चैहान आदि शामिल थे।
चालक को घायल कर कार लूटने का प्रयास
ग्वालियर। रेलवे स्टेशन से टेकनपुर बीएसएफ अकादमी के लिए दो लोगों ने सलीम खाँ निवासी गेंडे वाली सड़क नामक ड्रायवर से कार किराये पर ली और रास्ते में जौरासी घाटी पर बदमाशांे ने बहाने से कार रूकवाकर कट्टा अड़ाकर सलीम को कार से बाहर खींच लिया। इरादे खतरनाक देखकर सलीम ने कार की चाबी झाडि़यों में फेंक दी। इसके बाद बदमाशो ने वहीं पड़े सरिया डंडे से ड्रायवर को मार-मार कर अधमराकर कार की चाबी ढूंढ़ने में लग गये, लेकिन कुछ ट्रक वालों के आ जाने के कारण बदमाश कार ले जाने में सफल नहीं हो सके। एएसपी देहात योगेश्वर शर्मा ने बताया कि चालक ने सवारियों का न तो मोबाइल नं. लिया न नाम पता पूंछा। पुलिस को कुछ सुराग हाथ लगे हैं, पूर्व में इस तरह की घटना करने वालों को भी पुलिस तलास रही है, घायल की हालत ठीक है।