भोपाल। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष कांतिलाल भूरिया के क्षेत्र झाबुआ में बिजली संकट से परेशान किसानों ने 33 केवी पावर स्टेशन ग्रिड पर हंगामा खड़ा कर दिया। किसान इतने गुस्साए हुए थे कि उनसे बचने के लिए वहां मौजूद इंजीनियर ने खुद को आफिस में बंद कर लिया।
नियमानुसार ग्राम में रात 12 बजे से थ्री फेज बिजली प्रदाय की जाना है। बुधवार रात 12 बजे बिजली आई, लेकिन डेढ़ घंटे बाद ही बंद हो गई। इसी बात को लेकर किसान भड़क गए और एक दर्जन से ज्यादा लोग स्थिति जानने के लिए रायपुरिया स्थित ग्रिड पर आ गए। उन्होंने बिजली बंद होने का कारण जानना चाहा, लेकिन संतोषप्रद जवाब नहीं मिला। उधर, ग्रामीणों का आक्रोश देख वहां मौजूद इंजीनियर राहुल मिश्रा ने पूछताछ के डर से खुद एक कमरे में छिप गए। उन्होंने ग्रामीणों के सवालों का भी जवाब देना उचित नहीं समझा।
सुबह ग्रिड पर दिया धरना
गुरुवार सुबह 100 से अधिक किसान ग्रिड पर धरना देने पहुंच गए। उन्होंने विद्युत वितरण कंपनी के डीई सतीश कुमरावत को मौके पर बुलाने की मांग की। उनका कहना था जब तक वे नहीं आएंगे हम नहीं हटेंगे। सुबह लगभग 11 बजे श्री कुमरावत ग्रिड पर पहुंचे। किसान गोविंद पाटीदार, बाबू पटेल, राजू हीरालाल, डूंगरसिंह चौधरी, मोहन चुन्नीलाल, धर्मराज पाटीदार, रामेश्वर पाटीदार, शंभूलाल पाटीदार, नंदराम भागीरथ, पुरुषोत्तम पाटीदार, बगदीराम पाटीदार आदि ने उन्हें मामले से अवगत कराया।
उन्होंने बताया रात में खेतों पर पहुंचते ही बिजली बंद हो जाती है। इससे सिंचाई नहीं हो पाती। हमारे खेत सूख रहे हैं। किसानों ने लाइनमैन भेरूलाल भाटी और इंजीनियर राहुल मिश्रा को हटाने की मांग की। किसानों ने बताया हर बार कुछ देर चलने के बाद बिजली बंद हो जाती है। उन्होंने भाटी और मिश्रा पर मिली भगत का आरोप भी लगाया। इस पर श्री कुमरावत ने उचित कार्रवाई का आश्वासन दिया।
लाइनमैन को अन्यत्र भेज दिया है
किसानों ने लाइनमैन और इंजीनियर को हटाने की मांग की है। लाइनमैन को तत्काल प्रभाव से अन्यत्र भेज दिया है। रही बात इंजीनियर को हटाने की, ये मेरे अधिकार क्षेत्र में नहीं आता। वरिष्ठ अधिकारियों से किसानों की मांग को अवगत करवा दूंगा।
सतीश कुमरावत
डीई, विवि कंपनी झाबुआ