MOBILE हैकिंग और ठगी से बचने के लिए क्या करें, PHONE चोरी हो जाए तो क्या करें, यहां पढ़िए

आज पूरी दुनिया के वैज्ञानिक नई नई शोध में बढ़ोत्तरी कर रहे हैं, चाहे जमीन हो, आसमान हो या फिर दैनिक जीवन की जरूरतें। मेडिकल के क्षेत्र में कोरोना जैसी भयंकर महामारी से दुनियाँ को सुरक्षित कर लेना बहुत बड़ी चुनौती थी लेकिन आदमी ने पूर्व की महामारियों की अपेक्षा इसे जल्द ही काबू में कर लिया है।

पढ़ा लिखा सज्जन और संभ्रांत वर्ग भी इनकी चपेट में आ जाता है

इंटरनेट की दुनिया ने तो आदमी को जितना फास्ट किया है वह आम आदमी की कल्पना से परे है लेकिन जितनी तकनीक का इस्तेमाल जीवन की सफलता के लिए मनुष्य कर रहा है उतनी ही तेज गति से एक वर्ग है जो हमेशा से समाज का विरोधी रहा है। ठग गिरोह। ये ऐसे गिरोह होते हैं जो मनुष्य के विकास के साथ समाज के भीतर घुस कर आम आदमी की जिंदगी मुसीबत में डालते आए हैं। वेशक ए समाज का हिस्सा नहीं हैं लेकिन समाज के साथ सभ्यता के विकास से ही चल रहे हैं ठीक वैसे ही जैसे हिंषक शेर हिरणों के झुंड के इर्द गिर्द चलता है और जरूरत पड़ने पर झुंड में से किसी को अपना शिकार बना लेता है। इस भाग दौड़ भारी जिंदगी में आदमी जितना उलझता जा रहा है उतने ही उसके ठगे जाने के खतरे बढ़ गए हैं। हमेशा परेशान और लालची लोग ही ठगी का शिकार नहीं होते अपितु पढ़ा लिखा सज्जन और संभ्रांत वर्ग भी इनकी चपेट में आए दिन आता रहता है।

आइये कुछ अनुभव का स्मरण करते हैं आखिर कैसे डिजिटल ठगी होती है –

आज के दिन हर कोई अपनी जमा पूंजी अपने साथ लेकर घूमता है यानि मोबाइल फोन। मोबाइल फोन को साईबर ठग बड़ी आसानी से हैक कर लेते हैं और आपको भारी क्षति पहुँचा देते हैं।
चाहे एटीएम बैंक में नए-नए डमी डिवाईस लगाकर कार्ड रीड करके या फिर मोबाइल नंबर बदलकर कभी-कभी आपसे ही बड़े शातिराना ढंग से करवा देते हैं।

समय – अक्सर ठगी करने वाले देखते हैं कि कामगार वर्ग सुबह 8 बजे से सुबह 10 बजे तक तथा शाम को 5 बजे से 7 बजे तक ऑफिस जाने या फिर घर आने की आपाधापी में रहता है उसी दौरान अनचाहे फोन करके आप से आपकी निजी जानकारी अनेक रूपों में मांग कर अंजाम देते है।

उस समय आप का दिमाग घर आने जाने और दूसरी जरूरतों को पूरा करने में व्यस्त रहा है। आपको समझने का मौका ही नहीं मिल पाता और आप शिकार बन जाते हैं।

बड़ी ही सावधानी बरतने की आज नितांत अवश्यकता है। आप ही नहीं आईएस, प्रोफेसर ,यहाँ तक की एक राज्य सरकार के मुख्य सचिव भी इससे न बच सके तो आप अंदाजा लगा सकते हैं कि आप ठगों के बीच में जी रहे हैं।

या पूरा देश क्या पूरी दुनिया ठगों के हाथों में है । 

लकी ड्रा जैसे प्रलोभन

कम जागरूक लोग अक्सर ठगी फोन काल द्वारा जिनमें अक्सर लकी ड्रा जैसे प्रलोभन दिये जाते हैं कि आपका नंबर लकी ड्रा में सिलेक्ट हुआ है आपको 2 लाख या जो भी रकम बताई जाते है जिसके कारण आदमी के अंदर फ्री में लाखों रुपए के लालच में विवेक खत्म हो जाता है वह ठग के द्वारा वेरिफिकेशन के नाम पर आधार पैन और बैंक की जानकारी मांग कर या फिर पंजीयन के नाम पर कुछ राशि ठग ली जाती है अक्सर ए फोनकाल व्हाट्सप से आते हैं क्यूंकी वह रिकॉर्ड नहीं किया जा सकता ।

फौजी अपनी मोटरसाइकिल या कार बेचता है

ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों को कई फोन और संदेश आते हैं जिसमें कोई फौजी अपनी मोटरसाइकिल या कार बेचता है क्यूंकि वह स्थानांतरण का बहाना बताता है। भारत एक ऐसा देश हैं जहां फौजी के नाम पर आँख बंद करके भी भरोसा किया जाता है। वह अपनी ड्रेस के साथ फोटो, नौकरी का पहचान पत्र, आधार, पैन आदि आपको भेज देगा जिससे आप उस पर भरोसा जता सकें।

चूंकि गाड़ी कम कीमत पर मिल रही है तो आप सौदा निकलना नहीं चाहते तो उसके कहने पर बुकिंग रकम उसके खाते में भेज देते हैं या फिर गाड़ी रेल या दूसरे माध्यम से भेजी जाएगी उसका ट्रांसपोर्टेशन चार्ज ले लिया जाता है और आपको जाली कागज दिखाकर फोन नंबर बंद कर लिया जाता है। तब तक देर हो चुकी होती है। 

किसी अनजान को भावनाओं में बहकर अपना फोन न दें

चलती राहों में आपको कोई अनजान मिल सकता है जो कई बहाने बनाकर आपसे आपका फोन एक कॉल करने के लिए लेता है और आपका फोन हैक कर लेता है सारे ओ टी पी और संदेश उसके फोन पर जाने लगते हैं जब तक आपको पता चले जब तक बैंक खाली हो चुका होता है। 

इसके लिए वह *401*# के बाद अपना मोबाइल नंबर डालकर सारे ओ टी पी और संदेश अपने नंबर पर फॉरवर्ड कर लेता है।

इसलिए सावधानी वरतें कभी भी किसी अनजान को भावनाओं में बहकर अपना फोन न दें।

अक्सर डाँकू खड़गसिंह बीमार या परेशान ही दिखता है जो बाबा भारती का घोड़ा छीनकर भाग जाता है, वह बाबा भर्ती आप ही हैं कोई और नहीं ।


कस्टमर केयर की वेबसाइट 

कस्टमर केयर के नाम पर – कई बार आप अधूरे बैंक ट्रांजेक्शन से परेशान होकर गूगल में सहायता के लिए कस्टमर केयर का नंबर खोजते हैं जिसमें एक साथ कई कस्टमर केयर की वेबसाइट खुलती हैं आप वहाँ पर फर्जी नंबर पर फोन करते हैं वह पुष्टि के नाम पर आपसे सारी आपकी निजी जानकारी के साथ ओटीपी आदि मांग कर आपको चूना लगा देता है। एक बात यहाँ फिर मिली कि आप परेशान हैं तभी आप ठगे गए। गूगल-पे और फोन-पे, के कई कस्टमर केयर वेबसाईट एक साथ आपको मिल जाएंगे आप पता ही नहीं कर पाएंगे सही कौन और जाली कौन। हमेशा ध्यान रखें कि सही कस्टमर कैयर को फोन करें और किसी भी प्रकार का ओटीपी आदि न बताएं जरूरत पड़ने पर तुरंत बैंक से संपर्क करें।

आप लगातार कई एप डाउनलोड कर लेते हैं उसको ओपन करने पर वह आपके फोन का कंट्रोल ले लेता है यहाँ तक की फोन बनाने वाली कंपनी भी आपसे आपके फोन का नियंत्रण ले लेता है मतलब निजिता जैसी कोई जीच शेष नहीं रह जाती है।

आपका फोन हैक है या नहीं, पता लगाने के लिए क्या करें

आपका फोन हैक है इसका पता लगाने के लिए आपको *#21# डायल करना होगा।
MMI code स्टार्ट होगा
Call forwarding unconditionally.
Voice: not forwarded
Sync: not forwarded लिख कर आ रहा मतलब आपका फोन सुरक्षित है । 
यदि कॉल फॉरवर्ड लिख कर आ रहा है तब क्या करना है ताकि यह बंद हो जाए क्योंकि आपका फोन हैक हो चुका है।

आपको सभी कॉल फारवर्ड मिटा देना है या बंद कर देना है उसके लिए डायल करें ##002# तब आपके फोन स्क्रीन पर लिखकर आयेगा MMI started – Call forwarding all erases successfully इसके बाद आप निश्चिंत रहें आपका फोन सुरक्षित है।

फोन चोरी हो जाए या खो जाए तो क्या करें

यदि आपका फोन चोरी हो जाए या खो जाए तब आप क्या करेंगे चूंकि आपके सारे जरूरी ओटीपी, आधार पैन , बैंक , बैंक ऐप ,बीमा , एपीएफ, परिवार आईडी आदि से जुड़े हैं तब आप किस-किस में बंद कराएंगे जब तक बहुत देर हो चुकी होगी। यदि केवल पुलिस एफआईआर कर के बैठ जाएंगे तब भी ठगी हो सकती है हाँ एफआईआर कटवाने से आपके फोन से अपराध करने पर आप सुरक्षित रह सकते हैं लेकिन आप बैंक आदि के जोखिम से नहीं बच सकते तब क्या करें ?

सबसे पहले तो आप जो भी फोन खरीदते हैं उसका बिल जरूर रखें ताकि उसका IMEI नंबर बता सकें और फोन आपका ही है इसका सबूत दे सकें।

पूर्ण उपाय क्या है ? आपको भारत सरकार की वेवसाइट पर जाना होगा - https://ceir.gov.in/Home/index.jsp

जिसे संक्षिप्त में – CEIR कहते हैं। इस पर जाने के बाद एक विंडो मिलेगा जिसके पहले बॉक्स जो कि रेड रंग का होगा उसमें लिखा होगा – Block stolen /lost mobile फिर मांगी गई जानकारी वैकल्पिक नंबर, एफआईआर कॉपी, फोन खरीद बिल, पीडीएफ में अधिकतम 2 एमबी तक स्कैन करके अपलोड कर दें और सबमिट करके चेक रिक्वेस्ट स्टेटस देखते रहें।
सारे ओटीपी और गोपनीय संदेश कुछ ही मिनटों में एक साथ बंद हो जाएंगे।

फोन मिल जाने पर आपको उसे अनब्लॉक करना है तो ग्रीन बॉक्स को क्लिक करना है पूछी गई जानकारी भरने पर आप पुनः लाभ ले सकते हैं। 

और क्या सावधानियां बरतना हैं ? अक्सर हम और आप अपने पैन कार्ड और आधार कार्ड की फोटो कॉपी किसी को भी चाहे सिम कार्ड लेना हो या दूसरी कुछ सर्विस लेनी हो दे देते हैं जो कि आपकी सुरक्षा के लिए सही नहीं है , आपकी फोटो कॉपी से कई सिम कार्ड और दूसरे खाते खोले जा सकते हैं जिसका खामयाजा आपको भुगतना पड़ सकता है ।

आप हमेशा हस्ताक्षर करते समय पहचान पत्र पर तारीक और कार्य जरूर लिखें  कि आप फोटो कॉपी किस उद्धेश्य के लिए दे रहे हैं जैसे सिम कार्ड हेतु या गैस कनेक्शन , बैंक खाते हेतु दे रहे हैं । ऐसा करने से आपके पहचान पत्र का उपयोग दूसरे अन्य कार्य में नहीं ले सकता है और हाँ जरूरत से अधिक खाली बड़ा पेपर पहचान पत्र के अलावा जगह बचती है न छोड़ें उसे फाड़ दे या क्रॉस का निशान लगा दें ।

इस तरह आप सावधानी बरतेंगे तो आपके साथ साइबर ठगी होने के खतरे कम हो सकते हैं । 
लेखक :-राकेश अलामपुर, भिंड मप्र

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