BASANT PANCHAMI के विशेष उपाय, बुद्धि, विद्या और ज्ञान की प्राप्ति होगी

BASANT PANCHAMI 2023-
वसंत पंचमी का त्यौहार इस साल 26 जनवरी, को मनाया जाएगा। माघ मास का पूरा ही महीना उत्साह का संचार करने वाला है लेकिन फिर भी माघ शुक्ल की पंचमी यानी वसंत पंचमी विशेष महत्व रखती है। वसंत पंचमी पर्व का कई तरह से महत्व है। भगवान राम इसी दिन मां शबरी के आश्रम पहुंचे थे। इस दिन मां सरस्वती की उत्पत्ति भी हुई थी और इसलिए यह प्रकृति में जीवन, रस और ज्ञान के प्रसार का उत्सव भी है। ज्योतिष-शास्त्र के अनुसार, वसंत पंचमी के दिन कुछ विशेष उपायों को करने से बुद्धि, विद्या और ज्ञान की प्राप्ति होती है। आइए जानें वसंत पंचमी के दिन करने वाले उपायों के बारे में।

VASANT PANCHMI KE TOTKE- बसंत पंचमी के टोटके

ज्योतिष-शास्त्र के अनुसार, कई बार घर में वास्तु-दोष होने के कारण विद्यार्थी को शिक्षा में उचित परिणाम नहीं मिलते हैं। ऐसे में उन्हें वसंत पंचमी के दिन से ही पूर्व, उत्तर या पूर्वोत्तर के दिशा में पढ़ाई करना चाहिए। इस दिशा को ध्यान एवं शांति का केंद्र भी माना जाता है। इस दिशा में पढ़ाई करने से विद्यार्थी का मन एवं मस्तिष्क एकाग्रचित रहता है।

जिन छात्रों को पढ़ाई में कई प्रकार के समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है या वह एकाग्रता से नहीं पढ़ पा रहे हैं, उन्हें बसंत पंचमी के दिन ‘ॐ ऐं सरस्वत्यै ऐं नमः’ मंत्र का जाप अवश्य करना चाहिए। इस बात का ध्यान रखें कि मंत्र का जाप स्वच्छ आसन पर बैठकर और पूर्व या उत्तर दिशा की ओर मुख करके ही किया जाए।

दाम्पत्य जीवन में प्यार बरकरार रखना चाहते हैं तो वसंत पंचमी के दिन भगवति रति और कामेदव की पूजा करते हुए उन्हें पुष्प अर्पित करने चाहिए।
इस दिन विद्यार्थी माता सरस्वती को केसर या पीले चंदन का टीका लगाएं और पीले रंग के वस्त्र जरूर अर्पित करें। साथ ही पूजा स्थल पर किताब और कलम अवश्य रखें। ऐसा करने से मां सरस्वती की कृपा सदैव बनी रहती है और विद्यार्थी को ज्ञान, बुद्धि एवं विवेक का आशीर्वाद मिलता है।
‘वसंत पंचमी’ के दिन बच्चे का हाथ पकड़कर काले रंग की स्लेट पर कुछ न कुछ जरूर लिखवाना चाहिए। दरअसल, इस क्रिया को ‘अक्षराम्भ’ कहते हैं। ऐसा करने से पढ़ाई के क्षेत्र में बच्चा शिक्षा के क्षेत्र में अच्छा करेगा।

माता शारदा के पूजन के लिये भी वसंत पंचमी का दिन विशेष शुभ रहता है। इस दिन 2 से 10 वर्ष की कन्याओं को पीले-मीठे चावलों का भोजन कराया जाता है तथा उनकी पूजा की जाती है।
मां शारदा और कन्याओं का पूजन करने के बाद पीले रंग के वस्त्र और आभूषण कुमारी कन्याओं व ब्राह्मण को दान करने से परिवार में ज्ञान, कला व सुख-शान्ति की वृ्द्धि होती है।
इसके अतिरिक्त इस दिन पीले फूलों से शिवलिंग की पूजा करना भी विशेष शुभ माना जाता है

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