
याचिकाकर्ता अहमर खान ने ईरानी पर गलत शपथपत्र दाखिल करने का आरोप लगाया था। जिस पर सुनवाई करते हुए कहा कि याचिका दायर करने में 11 साल की देर की गई है। कोर्ट ने माना कि ये याचिका ईरानी को प्रताड़ित करने के इरादे से दायर की गई है।
दरअसल, साल 2004 के चुनाव के दौरान दिए हलफनामे के मुताबिक 1993 में बारहवीं करने के बाद स्मृति ईरानी ने 1996 में दिल्ली यूनिवर्सिटी से कॉरेस्पॉन्डेंस में बीए किया। 2011 में राज्यसभा चुनाव में दिए हलफनामे के मुताबिक, दिल्ली यूनिवर्सिटी के स्कूल ऑफ कॉरेस्पॉन्डेंस से 1994 में बीकॉम पार्ट-1 बताया गया है। 2014 के लोकसभा चुनाव में दिए हलफनामे में स्कूल ऑफ ओपन लर्निंग कॉरेस्पॉन्डेंस से 1994 में बीकॉम फर्स्ट ईयर बताया है।