
स्टेट बार के कार्यकारी सचिव मुकेश मिश्रा ने बताया कि पिछले दिनों जबलपुर के अधिवक्ता आलोक जैन व अरविन्द विश्वकर्मा के ऊपर आपराधिक तत्वों ने प्राणघातक हमला किया था। इसकी शिकायत के बावजूद पुलिस प्रशासन ने आरोपियों को गिरफ्तार करने के मामले में लापरवाही बरती।
12 सितम्बर को इंदौर हाईकोर्ट बार अधिवक्ता संघ के उपाध्यक्ष रितेश इनानी पर सेलम खजांची आत्मज धीरज खजांची निवासी ऊषागंज छावनी इंदौर ने धारदार हथियार से हमला बोल दिया। इसकी शिकायत तुकोगंज थाना इंदौर में की गई। इसके बावजूद पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार नहीं किया। मंदसौर के थाना कोतवाली और नई आबादी के थाना प्रभारियों ने वकीलों के साथ अभद्रता की। इसकी शिकायत भी हल्के में ली गई।
इन तमाम वारदातों से वकील समुदाय भयाक्रांत है। इसीलिए शासन-प्रशासन की नींद तोड़ने प्रदेशव्यापी विरोध प्रदर्शन आवश्यक है। ऐसा इसलिए भी क्योंकि हाईकोर्ट द्वारा संज्ञान लेकर नोटिस जारी किए जाने के बावजूद राज्य शासन ने अब तक एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट लागू करने की दिशा में ठोस कदम नहीं उठाया। प्रतिवाद दिवस इसी के विरोध में आयोजित है।