
इसकी जानकारी मिलते ही प्रशासनिक अधिकारी लोगों को समझाइश देने में जुट गए, लेकिन मूलभूत सुविधाओं की मांग को लेकर गिरगिटा के लोग वोट न देने की बात पर ही अड़ रहे। करीब चार घंटे की समझाइश और आश्वासन के बाद ग्रामीण मानें, जिसके बाद 11 बजे मतदान किया गया।
वार्ड क्रमांक 46 और 23 में तो लोगों ने स्थानीय विधायक नारायण त्रिपाठी तक की बात नहीं सुनी। लोगों का कहना था कि, विधानसभा उप चुनाव के दौरान तत्कालीन ऊर्जा मंत्री राजेन्द्र शुक्ल और मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बिजली समस्या में सुधार लाने का वादा किया था। लेकिन उसके उलट अब बिजली कटौती और बढ़ा दी गई है। इसी का विरोध करते हुए लोगों ने मतदान का बहिष्कार करने का निर्णय लिया।
सारे दांव फेल होते देख विधायक नारायण त्रिपाठी को सीएम शिवराज को फोन लगाना पड़ा। सीएम से सीधी बात होने और उनके कई बार आश्वासन देने के बाद लोग मानें और उन्होंने मतदान किया। गौरतलब है कि मैहर नगर पालिका चुनाव में अध्यक्ष पद के लिए 11 उम्मीदवार अपना भाग्य अजमा रहे हैं. इसी तरह 24 वार्डों से पार्षद पद के लिए 115 उम्मीदवार खड़े हुए हैं।