
समरसता के नाम पर संत समाज भी नाराज
अमरकंटक से आए कल्याणदासजी महाराज ने कहा- ऐसा पहले कभी नहीं हुआ। बकवास है यह।
निरंजनी अखाड़ा प्रमुख आनंदगिरि महाराज ने कहा, साधुओं का राजनीतिक लाभ लेने का काम बंद होना चाहिए।
जगद्गुरु शंकराचार्य स्वरूपानंद सरस्वती दलित स्नान को भाजपा की नौटंकी बता चुके हैं।
डॉ. आंबेडकर के पोते आनंदराज ने भी इसे बाबा साहेब के विचारों के खिलाफ बताया था।