
कैबिनेट के इस फैसले से राज्य के साढ़े तीन लाख कर्मचारियों को फायदा होगा। इसके अलावा लगभग इतने ही पेंशनभोगियों को लाभ मिलेगा. यह एक जनवरी 2016 से लागू होगा।
महंगाई भत्ता के बढ़ाए जाने पर राज्य के खजाने पर 842 करोड़ का अतिरिक्त भार पड़ने वाला है। कैबिनेट की बैठक में कुल 10 एजेंडों पर मुहर लगी। सरकार ने अपादा जोखिम कम करने का लक्ष्य है। अगले 15 साल में आज के जोखिम को 50 फीसदी तक कम किया जायेगा।
नीतीश कैबिनेट ने बिहार आपदा जोखिम न्यूनीकरण रोडमैप 2015-30 की सैद्धांतिक स्वीकृति दी है। इसके अलावे सूबे में शराबबंदी को प्रभावी तरीके से लागू करने के लिए सीबीआई के तर्ज पर ईआईबी यानी एक्साइज इटेलीजेंस ब्यूरो का गठन किया गया है। वहीं सूबे में रोजगार पैदा करने के लिए हर प्रखंड में कौशल विकास ट्रेनिंग सेंटर का स्थापना किया जायेगा। इस योजना पर तकरीबन 112 करोड़ रुपए खर्च होंगे। कैबिनेट की बैठक में डिप्टी सीएम समेत तमाम मंत्री शामिल थे। इसके अलावा मुख्य सचिव अंजनी सिंह और गृह सचिव अमीर सुबहानी भी मौजूद थे।