
- सत्ता पर प्रहार करता है रावण....
- 'रावण' के जरिये नाट्य विद्यालय के छात्रों ने 'सत्ता' पर व्यंग्य कंसा है। इसमें अप्रत्यक्ष तौर पर राममंदिर का मुद्दा भी उठाया गया है। एक संवाद में इसका बखान किया गया है। संवाद में कहा गया है कि मन में रावण बैठा है, लेकिन मुंह से राम-राम निकल रहा है।
- कुछ थियेटर आर्टिस्ट की आपत्ति है कि इस नाटक में राम को अपमानित किया गया है।
- 'मन रावण-रावण करता है..' गीत पर भी आपत्ति है।
- पुजा-पत्री में राम कहां से आ गया, इस लाइन पर भी कुछ लोगों ने नाराजगी जताई है।
- यह नाटक मप्र नाट्य विद्यालय के छात्र अजीत रंजन द्वारा किया गया था।
- नाट्य विद्यालय के डायरेक्टर के मुताबिक यह नाटक रावण पर व्यंग्य था।
- संस्कृति मंत्री सुरेंद्र पटवा ने बताया कि उनके पास इस मामले में शिकायत आई है। इसकी जानकारी उन्होंने मंगवाई है।