ग्वालियर के रजत ने बनाई करोड़ों की गेम्स कंपनी

नई दिल्ली। रजत धारीवाल ने अमेरिका से पढ़ाई करने के बावजूद भारत में कुछ ही लाख रुपए में ‘मैडरैट गेम्स’ नाम की कंपनी की शुरूआत की। हाल ही में रजत की कंपनी ने तीन करोड़ का टर्नओवर किया है।
जानकारी के मुताबिक, ग्वालियर में जन्में रजत धारीवाल ने आईआईटी मुंबई से कंप्यूटर साइंस में इंजीनियरिंग की पढ़ाई करने के बाद अमेरिका की कारनेगी मैलन यूनिवर्सिटी से मास्टर डिग्री की है।


पढ़ाई पूरी करने के बाद वह वहीं पर अमेजन.कॉम में जॉब करने लगे परंतु रजत के मन में भारत लौटकर यहां के बच्चों के लिए कुछ अलग की चाह उसे वापिस यहां ले आई। पत्नी मधुमिता हलदर के साथ मिलकर उन्होंने सबसे पहले स्क्रैबल- इंस्पायर्ड हिंदी बोर्ड गेम 'अक्षरित' बनाई। इस गेम का फायदा यह है कि इसे खेलते हुए बच्चे हिंदी सीख सकते है। इसके बाद दोनों ने माय टॉय फैक्ट्री, पजल प्लस और अब 70 बोर्ड गेम्स जैसी कई गेम्स बनाई, जिनमें तीन या चार गेम्स एंटरटेनमेंट के लिए हैं, बाकी सभी एजुकेशनल गेम्स हैं।

इसके बाद वे छत्तीसगढ़, मध्यप्रदेश और राजस्थान के तीन हजार सरकारी स्कूलों में यह गेम्स सप्लाय करने लगे। गेम्स की कीमत 250 से 350 रुपए के बीच रखी गई और उन्हें रिस्पॉन्स भी अच्छा मिलने लगा। इसके बाद उन्होंने रिटेल मार्केटिंग की तरफ रूख किया। गेम्स की डिमांड बढऩे पर उन्होंने अपनी टीम बनाई। उनके प्रोडक्शन यूनिट और हेड ऑफिस में 51 लोग काम करते हैं और अब उनके गेम्स 40 शहरों में 2000 छोटे-बड़े स्टोर में उपलब्ध है।

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