अतिथि शिक्षकों को नहीं मिल रहा मतदान के दिन का वेतन

मंदसौर। हम सभी अतिथि शिक्षक जो कि पिछले कुछ वर्षाे से शिक्षा विभाग में अपनी सेवाए अनवरत एवं ईमानदारी के साथ दे रहे हैं। मगर फिर भी आए दिन हमारे साथ किसी न किसी प्रकार से भेदभाव व छलावा स्थानीय एवं उच्च स्तर पर किया जाता रहा हैं, जिसमें हमें आए दिन परेशानीयों का सामना करना पड़ता हैं। ऐसा ही वाकया नवम्बर माह के मानदेय का भुगतान करते समय किया जा रहा हैं।

चुंकी गत माह 25 नवम्बर को विधानसभा मतदान होने के कारण संपूर्ण प्रदेश की सभी शासकीय एवं अध्द्शासकीय एवं प्राइवेट संस्थाओं के कर्मचारीयों की संस्था को समाचार पत्रों के माध्यम से चुनाव आयोग द्वारा अवगत कराया गया था की सभी कर्मचारीयों को संवैतनिक अवकाश प्रदान किया जाए। यदि कोई संस्था इसकी अवहेलना करती हैं तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। जिसकी सुचना हमें भी समाचार पत्र में पढ़ने के बाद मिली। चुंकी गत माह सभी स्कूलों में कार्य दिवस 20 थे तथा मतदान अवकाश सहीत 21 दिवस होते हैं।

उपरोक्त समाचार के बारे में हमने संकूल में अतिथि शिक्षक उपस्थिति पत्र में भी हवाला दिया था। आज दिनांक 11 दिसंबर को संकूल में मौखिक वार्तालाप करने पर संबंधित बाबू द्वारा यह कहा गया की मुझे 20 दिन की ही पता है। हमने उन्है उपरोक्त सभी बाते बतायी मगर उन्होंने मना कर दिया और सिर्फ 20 दिन का मानदेय का ड्राफ्ट बना दिया गया। यही बात श्री मान जिला शिक्षा अधिकारी मंन्दसौर से मोबाइल पर पुछने पर उनके द्वारा भी 20 दिवस बताकर फोन रख दिया गया। अगर यह सही हैं तो फिर चुनाव आयोग द्वारा समाचार पत्र में दि गई सुचना का क्या हुआ।

इसी प्रकार हर माह मानदेय अधिकतम वर्ग 2 के लिए 23 दिन या उससे अधिक के लिए 3450 ही दिये जाते हैं । जबकी पास ही के खड़ावदा संकूल में गत 2 वर्षाे से 3500 रूपये पुरे दिए जा रहे है। और 23 दिवस से ज्यादा लगने पर 150 रूपये प्रतिदिन के हिसाब से दिए जाते हैं।

हम इस शासन और प्रशासन से पुछना चाहते हैं की क्या प्रत्येक संकूल में अतिथि शिक्षकों के लिए अलग अलग नियम / कानुन है। हमारा उद्देश्य किसी कर्मचारी या व्यक्ति को परेशान करने का नही है।

श्रीमान् अब चुंकी फिर से प्रदेश में भावी मुख्यमंत्री द्वारा पद ग्रहण किया गया हैं इसलिए हम प्रदेश के मुखिया से आग्रह करते हैं की हमारे लिए स्पष्ट नीति नियम बनाये जाये। अपने पुर्व में किये वादों को भी पुनः याद करके वे उन्हें पुरा कर प्रदेश में शिक्षा व शिक्षक की दयनीय स्थिति को सुधारने का कार्य प्राथमिकता से करें।

भवदीय
कमलेश मेहर, दिनेश सामेरिया, इकबाल मंसुरी, एवं समस्त अतिथि शिक्षक
संकुल केन्द्र चन्दवासा, जिला -मन्दसौर
                                       


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