भोपाल। अपनी गर्लफ्रेंड के साथ न्यू ईयर गोवा में मनाने के लिए एक स्टूडेंट ने अपनी ही किडनेपिंग प्लान कर डाली। पुराने दोस्तों को शामिल किया और गिरोह तैयार कर लिया, लेकिन इससे पहले कि सबकुछ प्लान के मुताबिक होता, पुलिस आ गई और धर लिए गए मिस्टर आशिक।
घटना धनत्रयोदशी की है। मिस्टर आशिक अरुण तिवारी का अपहरण शाहपुरा स्थित आकृति ईको सिटी स्ट्रीट के बाहर से सुबह 7 बजे उस समय किया गया था जब वह दूध लेने अपनी बाइक से कॉलोनी के बाहर सांची पार्लर पहुंचा था।
पुलिस ने उसके दोस्तों को हिरासत में लेकर पूछताछ की तो इस साजिश का खुलासा हुआ। पुलिस ने छात्र और उसके साथियों के खिलाफ अपहरण का भय दिखाकर फिरौती मांगने का मामला दर्ज किया है। एएसपी राजेश सिंह चंदेल ने शनिवार को पत्रकारवार्ता में इंजीनियरिंग प्रथम वर्ष के छात्र अरुण उर्फ गौरव तिवारी (20) के अपहरण की साजिश का खुलासा किया।
एएसपी के अनुसार 11 नवंबर की सुबह अरुण अपनी बाइक से कॉलोनी के बाहर दूध का पैकेट लेने गया था। काफी समय तक जब वह वापस नहीं आया तो परिजनों ने बाहर जाकर देखा जहां उसकी बाइक लावारिस खड़ी थी। करीब 11 बजे अरुण के मोबाइल से उसके पिता बीएसएनएल से सेक्शन ऑफिसर के पद से रिटायर्ड रामखिलावन तिवारी के मोबाइल पर फोन आया। फोन करने वाले ने बताया कि अरुण का अपहरण किया है।
इसके बाद अपहरणकर्ता ने फिरौती में पांच लाख रुपए की मांग की। पुलिस को सूचना देने पर उसने अरुण को जान से मारने की धमकी दी। रामखिलावन ने बेटे के अपहरण की सूचना पुलिस को दी। आकृति ईको सिटी पहुंचे पुलिस अफसरों ने गेट पर लगे सीसीटीवी कैमरे के फुटेज देखे जिसमें ऐसे कोई साक्ष्य नहीं मिले की अरुण का अपहरण किया गया है। इसके बाद सीएसपी हबीबगंज राजेश सिंह भदौरिया के साथ शाहपुरा, हबीबगंज और कोलार थाना प्रभारियों की टीम तैनात की गई।
सीएसपी हबीबगंज राजेश सिंह भदौरिया ने बताया कि प्रेमिकाओं की फरमाइश पूरी करने के कारण योगेश पर 65 हजार और मेहराज पर 10 हजार रुपए का कर्ज था। उन्हें लोन भी चुकाना था और न्यू ईयर गोवा में भी मनाना था। पापा ने अरुण की पाकेट मनी भी बंद कर दी थी और हाल ही में जमीन बेची थी, इसलिए अरुण को पता था कि पापा के पास बड़ी रकम कैश पड़ी हुई है। इसी के चलते पूरी किडनेपिंग प्लान की गई।