कई बार गवाह (Witness) को प्रलोभन (Temptation) देकर अथवा किसी प्रकार का भय (Fear) दिखाकर और धमकी देकर उसे झूठी गवाही (False testimony) देने के लिए मजबूर कर दिया जाता है। गवाही के बाद दबाव मुक्त (Free) हो जाने पर वह व्यक्ति धमकी देने वाले के Against कार्यवाही करना चाहता है, तब उसे कहां Complaint करनी चाहिए। किस स्तर के Cour में Complaint दायर कर सकता है। आइए जानते हैं:-
Bharatiya Nagarik Suraksha Sanhita, 2023 की धारा 216 की परिभाषा
धमकी देने आदि की दशा में साक्षियों के लिए प्रकिया - (Procedure for witnesses in case of threatening etc.) - कोई भी Witness या अन्य व्यक्ति जिसने Bharatiya Nyaya Sanhita, 2023 की धारा 232 के अंतर्गत False evidence देने के लिए धमकाया (Intimidated) था तब वह व्यक्ति उसी Court में जहाँ आरोप का Trail किया जा रहा है, उस व्यक्ति के खिलाफ जिसने झूठा साक्ष्य (False evidence) देने के लिए मजबूर किया था उसकी Complaint कर सकता है।
नोट:- बिना Witness या अन्य व्यक्ति जिसने धमकी, प्रलोभन, आदि में Evidence दिए गए उसकी Complaint के बाद ही Court द्वारा मामले का संज्ञान (Attention) लिया जाएगा। लेखक✍️बी.आर. अहिरवार (पत्रकार एवं विधिक सलाहकार होशंगाबाद)। Notice: this is the copyright protected post. do not try to copy of this article)
डिस्क्लेमर - यह जानकारी केवल शिक्षा और जागरूकता के लिए है। कृपया किसी भी प्रकार की कानूनी कार्रवाई से पहले बार एसोसिएशन द्वारा अधिकृत अधिवक्ता से संपर्क करें।
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