शराब की दुकान इधर है, विधायक निवास इधर है: अनौखा विरोध | MP NEWS

खंडवा। आनंद नगर क्षेत्र में शैक्षणिक संस्थाओं के पास खुली शराब दुकान के विरोध में पहले दिन 500 लोगों ने हस्ताक्षर किए। लोगों ने हस्ताक्षर कर शराब दुकान हटाने की मांग की। क्षेत्रवासियों ने विधायक के घर पहुंच मार्ग पर लगे संकेतक के नीचे शराब दुकान इधर है का भी संकेतक लगा दिया। विरोध में शुक्रवार को कुछ कांग्रेस नेता भी शामिल हुए। आनंद नगर में शैक्षणिक संस्थाओं के पास खुली शराब दुकान का विरोध कर रहे क्षेत्रवासियों ने शुक्रवार को हस्ताक्षर अभियान चलाया।

विरोधकर्ताओं ने क्षेत्र में घुमकर लोगों से दुकान हटाने के लिए हस्ताक्षर करवाए। लोगों ने हस्ताक्षर करने के साथ ही प्रशासन से मांग की है कि दुकान को जल्द से जल्द हटाया जाए। करीब 500 लोगों ने दुकान हटाने की मांग की है। सुबह से शाम तक हस्ताक्षर अभियान चलता रहा। आंदोलन में शामिल लोग घरों तक पहुंचकर लोगों को जागरूक कर रहे है। इसके साथ ही शराब दुकान खुलने से होने वाले दुष्परिणामों के बारे में भी बताया जा रहा है। चंद्रशेखर अटूट लोगों से दुकान के विरोध में हस्ताक्षर करवा रहे हैं। अटूट ने बताया कि लोगों का हस्ताक्षर युक्त ज्ञापन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को दिया जाएगा। वे खुद ज्ञापन लेकर भोपाल जाएंगे।

वहीं दूसरी तरफ शराब दुकान के पास से एक रैली निकाली गई। इसमें कांग्रेस नेता राजकुमार कैथवास, पूर्व पार्षद शांतनु दीक्षित, रतन सक्सेना, नर्मदाप्रसाद जायसवाल, वीरेंद्र गौतम, लव जोशी, सैय्यद असलम, बाबा मिटावलकर, एमके अवस्थी रैली निकालकर विधायक देवेंद्र वर्मा के घर पहुंच मार्ग चौराहे पर पहुंचे। चौराहे पर विधायक निवास जाने का संकेतक बोर्ड लगा हुआ था। बोर्ड के नीचे कांग्रेस नेता कैथवास और गौतम ने एक और संकेतक लगा दिया। इस पर शराब की दुकान इधर है लिखा हुआ था। संकेतक लगाने के बाद साथ आए लोगों ने शराब दुकान के विरोध में नारे लगाए।

क्षेत्रवासियों का कहना है कि खंडवा शहर में पहले भी आबकारी विभाग के अफसरों ने मनमर्जी से शराब दुकानें खुलवा दी थी। लाल चौकी की दुकान पूरी तरह लोगों के घरों के बीच खोल दी गई थी। परिणाम में कई लोगों को अपना घर तक छोड़ना पड़ा। उसी दुकान को अब ठेकेदार प्रमोद पुरी ने अपने ही घर में शुरू कर दी। ठेकेदार के परिजन भी अपने ही घर से सामान शिफ्ट करते नजर आए है। क्षेत्रवासियों ने कहा शांतिपूर्वक किए जा रहे विरोध पर न तो कोई नेता हमारी बात सुन रहा है और न ही अफसर। क्षेत्र के नर्मदाप्रसाद जायसवाल ने कहा कि नेताओं की नाकामी पर पहले अफसर हावी रहते थे लेकिन अब शराब ठेकेदार भी हावी हो रहा है। जल्द ही प्रशासन को उचित कार्रवाई करना चाहिए। 
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