रिश्वतखोरों को लोकायुक्त से बचाने तांत्रिक अनुष्ठान करवाएंगी BJP की महिला महापौर!

भोपाल। सतना की भाजपा नेता एवं महिला महापौर ममता पाण्डेय अब विवाद और लोकायुक्त से नगर निगम को बचाने के लिए तांत्रिक क्रियाएं एवं अनुष्ठान करवाएंगी। निगम कर्मचारियों की हड़ताल खत्म करवाते समय दिए गए भाषण में उन्होंने यह ऐलान किया। इतना ही नहीं उन्होंने यह भी कहा कि झाडू लगाकर सफाईकर्मी दुबला पतला हो जाता है, इसलिए एक पौआ दारू पीना उसकी मजबूरी है। बता दें कि सफाईकर्मियों की स्वास्थ्य रक्षा के लिए उन्हे विशेष उपकरण देने का प्रावधान है, परंतु महिला महापौर का मानना है कि एक पौआ दारू पीने से सफाईकर्मी उन सभी संक्रामक एवं घातक कीटाणुओं से बच सकता है जो उसे कार्यस्थल पर हर रोज मिलते हैं। 

सतना महापौर ममता पाण्डेय का पूरा भाषण ही विवादित रहा। वो अपने कमिश्नर सुरेन्द्र कथूरिया की गिरफ्तारी से काफी व्यस्थित नजर आईं। इतनी परेशान कि उन्हे अपने पद की मर्यादा का भी ध्यान नहीं रहा। वो यह भी भूल गईं कि तांत्रिक प्रायोगों की अनुमति कानून नहीं देता। 

शराब पीना मजबूरी है 
महापौर ममता पांडेय ने कहा नगर निगम के सफाई कर्मचारियो को एक पौआ दारू पीना मज़बूरी है। झाडू लगाकर दुबला पतला कंगाल हो जाता है कर्मचारी। कंगारू जैसे हड्डी निकल आतीं है शरीर मे। दारू पीकर झाडू लगाना मज़बूरी है उसकी। इस तरह से महापौर ममता ने ना केवल सफाईकर्मियों की शराब पीने की आदत को सही ठहराया बल्कि शासकीय कर्मचारियों को शराब पीने के लिए प्रेरित भी किया। 

तांत्रिक प्रयोग करेंगे 
महापौर ममता पांडेय ने कहा जब से सतना स्मार्ट सिटी बनने की घोषणा हुई है। तब से निगम कार्यालय में भूत-प्रेत की साया है। नगर निगम को नजरें लग गई है। आए दिन हो रहे विवाद और रिश्वत लेते रंगेहाथ हो रहे गिरफ्तार इसका उदाहरण है। निगम में लगी नजरें हटाने को लेकर वृहद गायत्री मंत्र का जाप होगा। निगम कार्यालय के हर एक गेट पर नींबू और मिर्च लटकाए जाएंगे।

हां मैने कहा शराब उनकी मजबूरी है, नजर लगेगी तो उतरवाएंगे
महापौर ममता पाण्डेय ने अपनी प्रतिक्रिया में स्वीकार किया कि उन्होंने यह कहा था कि शराब पीना सफाईकर्मियों की मजबूरी है। उन्होंने कहा कि मैने कहा था मजबूरी है, मैने ये नहीं कहा कि जरूरी है। उन्होंने बताया कि सफाई कर्मचारी गंदे नालों में काम करते हैं, तरह तरह की बीमारियों से​ घिर जाते हैं अत: शराब पीना उनकी मजबूरी है। तांत्रिक अनुष्ठान के मामले में उन्होंने कहा कि जैसे बच्चे को नजर लगती है, वैसे ही शहर को भी लग जाती है। स्मार्टसिटी को नजर लगी है तो उतारेंगे। ताकि स्मार्टसिटी का कोई नुक्सान ना हो। 

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