युवती ने भगवान श्रीकृष्ण की प्रतिमा के संग धूमधाम से ब्याह रचाया

टीकमगढ। जिन्दगी में प्रारब्ध और वर्तमान दोनो का बहुत महत्व होता है। मीराबाई अपने गुरू रैदास की आसीम कृपा से कृष्ण की दीवानी हो गई थी। और कृष्ण की दासी बनकर जीवन यापन किया। ठीक इसी प्रकार एक 22 वर्षीय दिव्यांगी शालिनी भगवान श्री कृष्ण की दीवानी हो गई और हिंदू रीतिरिवाज के अनुसार भगवान कृष्ण के संग अपना विवाह रचा लिया। 

जिले के नगर कस्बा दिगौडा में निवासरत एक बिदुआ परिवार के मुखिया मुन्ना लाल बिदुआ बताते है। कि 22 वर्षीय दिव्यांग शालिनी जन्म से ही देख नही सकती है। और बालअवस्था से ही धार्मिक पूजा पाठ में लीन रहने लगी, और कृष्ण भगवान की आराधना करने लगी, बेटी ने  बालपन से ही कृष्ण भगवान से प्रीत कर बैठी। और अपने परिजनो के सामने अपने प्यार का इजहार कर दिया है कि में श्रीकृष्ण भगवान से प्यार करती हूॅ बस उन्ही से शादी करूगी। 

लडकी की जिद के आगे माता पिता को झुकना पडा और विवाह का मुहुर्त देखकर शादी की रस्में पूरी की। शुक्रवार को मेंहदी की रस्म पूरी की गई और शनिवार को मण्डप बंदनवार मण्डप बनाये गये। और रविवार को दिव्यांगी कृष्ण संग परिणाय सूत्र में बंध गई। नाते रिश्तेदारो को निमंत्रण भेजे गये। विवाह सात फेरो के मंत्रोचार मे शामिल आचार्य मनीष तिवारी, शिवलोक भोपाल, कौशलकिशोर दास लक्ष्मन जी मन्दिर कारी, कृष्णकांत शास्त्री कनक भवन ओरछा, आदि के द्रारा मंत्रोचार हबन पुजन किया गया। 

कृष्ण भगवान और दिव्यांग का कन्यादान माता किरणकुॅवर पिता मुन्ना लाल बिदुआ ने लिया। भाई अश्विनी ने पॉव पखारे कृष्ण भगवान की बारात प्राचीन किला में बिराजमान गोपाल जी मन्दिर से प्रस्थान दिव्यांगी के घर को दिन रविवार को दोपहर में रवाना हुई। बारात में नगर बासी सहित जनप्रतिनिधि नाते रिश्तेदार शामिल हुये। बारात के समय थाना प्रभारी बहीद खॉ की चाकचौबंध पुलिस ब्यवस्था रही। हिन्दू रीतिरिवाज के अनुसार दिव्यांग युवती का श्रीकृष्ण की प्रतिमा के साथ स्वयंवर रचा गया। खुशी खुशी दिव्यांगी अपने माता पिता के यहा से बिदा हुई।
If you have any question, do a Google search

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!