नईदिल्ली। बकाया फीस वसूली के लिए स्कूल संचालक बच्चों को बीच सत्र से स्कूल से निकाल देते हैं, उन्हें क्लास में अपमानित करते हैं या ऐसी ही कई प्रताड़नाएं तो सामने आईं हैं लेकिन उत्तरप्रदेश के गाजियाबाद में बकाया फीस वसूली के लिए स्कूल संचालक ने एक छात्रा के पिता पर उनके घर जाकर हमला कर दिया। इस विवाद से क्षुब्द छात्रा ने आत्महत्या कर ली।
जानकारी के मुताबिक, रतन सिंह मूलतः यूपी के जालौन के रहने वाले हैं। वह गाजियाबाद में अपने परिवार के साथ रह रहा था। सिक्यॉरिटी गार्ड की नौकरी कर वह पत्नी रानी और तीन बेटियों के साथ किसी तरह गुजर-बसर कर रहा था। प्रियांशी उर्फ जैसमीन (14) ने इसी साल घूकना स्थित डीएसपी स्कूल से आठवीं पास की थी।
फीस बढ़ने के कारण रतन सिंह ने बच्चों को स्कूल से निकाल लिया और प्रियांशी का गुरुनानक स्कूल व तीन बच्चों का अलग अलग स्कूल में दाखिला करा दिया था। वह पुराने स्कूल में बच्चों की दो से तीन माह की फीस जमा नहीं कर पाया था। पिछले दस दिन से रानी पैसे का इंतजाम करने के लिए गांव गई हुई थी और बुधवार को घर पर रतन सिंह बच्चों के साथ था।
दोपहर करीब तीन बजे स्कूल की छह शिक्षिकाओं समेत लोग रतन सिंह के घर पहुंचे और बच्चों के सामने ही उसके साथ अभद्र व्यवहार करने लगे। आरोप है कि शिक्षिकाओं ने रतन के साथ मारपीट की और बच्चों से भी बदतमीजी की। रतन सिंह के विरोध करने पर शिक्षिकाओं ने पुलिस को फोन किया और रतन पर ही छेड़छाड़ का आरोप लगा दिया। मौके पर पहुंची पुलिस दोनों पक्षों को चौकी ले आई। प्रियांशी इस हालात को देख नहीं सकी, वह पिता के अपमान से आहत हो उठी और कमरे में जाकर दरवाजे की ग्रिल से दुपट्टे का फंदा लगाकर उसने आत्महत्या कर ली।
अब पुलिस ने टीचर्स और स्कूल मैनेजमेंट के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। घटना के विरोध में लोगों का गुस्सा फूट पड़ा। थाने पहुंचकर लोगों ने घेराव कर पुलिस के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। महिलाओं ने पुलिस की मौजूदगी में शिक्षिकाओं को जमकर पीटा। प्रिंसिपल समेत 6 महिलाओं के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज होने के बाद भी स्थानीय लोगों में काफी गुस्सा है। पुलिस ने पूछताछ के लिए तीन महिलाओं को गिरफ्तार किया है और पांच आरोपियों के खिलाफ एफआइआर दर्ज की जा रही है।