भोपाल। मध्य प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती उत्तर प्रदेश की अयोध्या सीट से लोकसभा चुनाव लड़ सकती हैं। झांसी और अयोध्या (फैजाबाद) संसदीय सीट पर जीत की संभावनाओं को टटोलने के बाद पार्टी हाईकमान अयोध्या सीट से उमा भारती पर दांव लगाने की तैयारी कर रहा है। इसके पीछे प्रमुख तर्क यह है कि अयोध्या में राममंदिर निर्माण आंदोलन से उमा जुड़ी रहीं। पार्टी पहली सूची में इसकी घोषणा कर सकता है।
इस कवायद से साफ है कि विधानसभा चुनाव की तरह आम चुनाव में भी उमा मप्र की किसी से सीट से चुनाव नहीं लड़ेंगी। लिहाजा भोपाल संसदीय सीट से चुनाव लडऩे की अटकलों को अब विराम मिलने की संभावना है। विधानसभा चुनाव में वे उप्र की चरखारी सीट से जीती थीं और इस समय उमा उत्तराखंड प्रदेश की प्रभारी हैं।
पार्टी के वरिष्ठ नेताओं की मानें तो आम चुनाव के लिए प्रत्याशियों के चयन की प्रारंभिक एक्सरसाइज हो गई है। पहली सूची जल्द ही जारी हो सकती है। अयोध्या से चुनाव लडऩे के संबंध में उमा भारती से इस बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि वे पार्टी लाइन पर ही चलेंगी। पार्टी जहां से चुनाव लडऩे के लिए कहेगी, लड़ेंगे। वैसे भी यह पार्टी आलाकमान तय करते हैं कि कौन कहां से चुनाव लड़ेगा।
पुराना वादा निभाया
पार्टी के वरिष्ठ नेताओं की मानें तो उमा भारती के नाम की चर्चा भोपाल संसदीय सीट से की जा रही थी। चूंकि वर्तमान सांसद कैलाश जोशी को फिर चुनाव लड़ाने को लेकर पार्टी पशोपेश में है, इसलिए पार्टी विकल्प भी तलाश रही है। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह, लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष सुषमा स्वराज तथा संगठन महामंत्री रामलाल भी उमा को आसान सीट देना चाहते थे, लेकिन बीच में तत्कालीन राष्ट्रीय अध्यक्ष नितिन गडकरी का वादा आड़े आ गया। बताते हैं कि भाजपा में उमा की वापसी के समय गडकरी ने वादा किया था कि उन्हें मध्य प्रदेश की सियासत से दूर रखा जाएगा। इसी के चलते उमा भोपाल की दावेदारी से दूर हो गईं।