ग्वालियर। करीब दो वर्षों से जर्जर हालत में पड़े ग्वालियर झांसी नेशनल हाइवे का पर पैचवर्क भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण द्वारा 18 नवंबर 2013 को मैसर्स तोमर बिल्डर्स कंस्ट्रक्शन कम्पनी प्रायवेट लिमिटेड ग्वालियर से किया था।
अनुबंध की शर्तों के अनुसार कंपनी को ग्वालियर से डबरा होकर झांसी मार्ग का पैचवर्क कार्य प्रारंभ किया जाना था, लेकिन कंपनी ने अनुबंध की शर्तों का पालन न करते हुए पैचवर्क कार्य लेट शुरू किया। 12 दिसंबर को तोमर बिल्डर्स कन्सट्रक्शन कंपनी ने ग्वालियर से डबरा की ओर सड़क के गड्डों की पैच रिपेयरिंग डामर गिट्टी भरकर सड़क का समतलीकरण आरंभ किया, वहीं दूसरी ओर तोमर बिल्डर्स कंपनी की सहयोगी कंपनी टीआरा कंपनी इन्दौर ने डबरा झांसी नाके से सड़क के गहरे गड्डों को मुरम से भरकर सड़क का समतलीकरण का कार्य कर रही है।
मगर इस काम में लापरवाही बरती जा रही है। हाइवे के गड्डे गिट्टी की जगह मुरम से भरे जा रहे हैं। दोनों कंपनियों द्वारा नेशनल हाइवे पर हुए गहरे-गहरे गड्डों का भराव मुरम और डामर मिली गिट्टियों से कर सड़क का समतलीकरण किया जा रहा था। जो बिल्कुल नियम विरूद्ध हो रहा था इसको लेकर ओ जाने वाले लोगों द्वारा हो रहे पैचवर्क कार्य पर उंगलियां उठाई जा रही थीं।
जानकार लोगों का कहना है कि इतने गहरे गड्डों का भराव सर्वप्रथम 15 से 20 सेंटीमीटर मोटाई तक मुरम का भराव फिर 40 एमएम गिट्टी का, फिर 20एमएम गिट्टी सबसे आखिर में डामर मिक्स गिट्टी बिछाई जाती है, तब जाकर सड़क के गहरे गड्डों को लंबे समय तक चलने योग्य बनाया जा सकता है। नियम विरूद्ध हो रहे पैचवर्क पर वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा ध्यान दिया जाना अपेक्षित है ताकि पैचवर्क स्थाई रहे।