भाजपा उपाध्यक्ष ने नगरनिगम कर्मियों को बेरहमी से पीटा

भोपाल। बैरागढ़ के मुख्यमार्ग से नो-पार्किंग में खड़े वाहन उठाने की कार्रवाई कर रहे नगर निगम के अतिक्रमण विरोधी अमले के साथ लोगों ने जमकर मारपीट की। हंगामा करने वालों ने इस दौरान तोड़फोड़ भी की। मारपीट में कुछ कर्मचारियों को चोटें भी आई हैं।

यह हंगामा गुरुवार सुबह उस समय हुआ जब नगर निगम के अमले ने मुख्यमार्ग पर खड़े भाजपा जिला उपाध्यक्ष कुलदीप खरे का वाहन उठाने का प्रयास किया गया। घटना के बाद मौके पर भारी पुलिस बल तैनात हो गया। हालांकि दोनों पक्षों में समझौता होने के बाद अतिक्रमण अधिकारी ने मारपीट की घटना से इंकार कर रहे हैं।

जानकारी हो कि नगर निगम का अमला गुरुवार सुबह मुख्यमार्ग पर खड़े दुपहिया वाहनों को उठाने पहुंचा था। कार्रवाई के दौरान जैसे ही डॉ. केसवानी के सामने आकाश मोबाइल के पास खड़ी भाजपा उपाध्यक्ष कुलदीप खरे के कार को उठाने का प्रयास किया गया, तो खरे ने विरोध किया। निगम कर्मचारियों और खरे के बीच इस बात पर बहस हो रही थी कि निगम के किसी एक कर्मचारी ने खरे पर हाथ उठा दिया।

इस घटना की खबर जैसे ही कार्यकर्ताओं को लगी, तो वे घटना स्थल पर जमा हो गए और निगम के वाहनों में तोड़फोड़ कर दी। इस बीच मौके पर पहुंचे अतिक्रमण अधिकारी कमर सादिक के साथ भी मारपीट कर शुरू हो गई। इस घटना से मुख्यमार्ग पर जाम की स्थिति निर्मित हो गई, पुलिस के पहुंचने पर कार्यकर्ता शांत हुए। यह विवाद और अधिक तूल पकड़ता, लेकिन विधायक जीतेन्द्र डागा ने हस्तक्षेप करते हुए अधिकारियों से चर्चा की। तब तक बीआरटीएस अधिकारी भी घटना स्थल पर पहुंच गए थे। इस अवसर पर विधायक प्रतिनिधि किशन अच्छानी, सुनील सिंह जाट, कैलाश आसूदानी, वासुदेव गुलानी, राहुलसिंह राजपूत, शंकर मेंघानी भी मौजूद थे। पहले तो अधिकारी समझौता करने से इंकार करते रहे। इस बीच सैकड़ों कार्यकर्ता कुलदीप खरे के साथ थाने पहुंच गए। डागा ने नगर निगम कमिश्नर से चर्चा की, बाद में दोनों पक्षों में समझौता हो गया।

दुकान में छिपे अधिकारी

सूत्र बताते हैं कि भाजपा नेता कुलदीप के साथ मारपीट करने वाले निगम कर्मचारियों को दौड़ा-दौड़ा कर पीटा गया। अतिक्रमण अधिकारी ने भी पास स्थित जैन चाट की दुकान में शरण ली और निगम कर्मचारी को जो भी सुरक्षित जगह दिखी, वहां पर छिप गए। अतिक्रमण अधिकारी की शर्ट भी फट गई।

मारपीट की तीसरी घटना

नगर निगम कर्मचारियों के साथ मारपीट की यह पहली घटना नहीं है। यहां पर अभी हाल में निगम कर्मचारियों के साथ मारपीट की यह तीसरी घटना है। गत 22 सितंबर को भी दो छात्रों के विवाद में कर्मचारियों ने पहले तो छात्रों को पीटा, फिर भीड़ जमा होने पर कर्मचारियों को थाने की शरण लेनी पड़ी। इसके पूर्व एक कार्यक्रम में बीआरटीएस अधिकारी प्रमोद मालवीय को भाजपा समर्पित एक कार्यकर्ता ने थप्पड़ जड़ दिए थे।

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