MITS COLLEGE की छात्रा फांसी पर झूली

ग्वालियर। एमआईटीएस कॉलेज की एक छात्रा ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। आत्महत्या के कारणों का पता नहीं चल पाया है। घटना से कुछ देर पहले तक वो सामान्य थी। चाय बनाने के लिए अपने रूम में गई थी। उसकी सहेलियों का कहना है कि उसे देखकर कोई नहीं कह सकता था कि वो इस तरह का कदम उठाएगी। 

छतरपुर के चांदला में रहने वाले रामेश्वर मिश्रा की बेटी काव्या मिश्रा ग्वलियर में MITS में इलेक्ट्रॉनिक इंजीनियरिंग की स्टूडेंट थी। ग्वालियर में वह प्रगति विहार में विजयपाल सिंह के मकान में किराए से रहती है। 14 फरवरी की शाम को काव्या ने अपना कमरा बंद कर लिया। काव्या के साथ वाले कमरे में दो सहेलियां पूजा वर्मा और ज्योति भी रहती थीं। 

फांसी पर लटकी झटपटा रही थी 
शाम को काव्या ने अपनी सहलियों से कहा कि वह चाय बना रही है। इसके बाद काफी देर तक काव्या के कमरे के दरवाजा नहीं खुला। ज्योति ने कमरे के अंदर झांका तो काव्या ने अपने दुपट्टे से गले में फांसी का फंदा डाल रखा था और छत पर लटकी हुई छटपटा रही थी। ज्योति और पूजा की यह दृश्य देखकर चीख निकल गई। चीख सुनकर मकान मालिक विजयपाल सिंह आए। उन्होंने तुरंत काव्या को नीचे उतारा। फंदे में लटकी काव्या छटपटा रही थी और उसकी सांसें चल रही थीं। काव्या को तुरंत हॉस्पिटल ले जाया गया, लेकिन उसकी मौत हो गई। मौत के बाद पुलिस काव्या के कमरे की जांच करने पहुंची। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।

पुलिस जांच में जुटी
काव्या के कमरे में कोई सुसाइड नोट नहीं मिला। इसके अलावा काव्या का फोन भी लॉक है।पुलिस इसी फोन के सहारे सुसाइड का कारण जांचने में जुटी हैं। काव्या के साथ रहने वाली दोनों लड़कियों का कहना है कि उसके नेचर से कभी ऐसा नहीं लगा कि वह सुसाइड जैसा कदम उठा सकती है। दो महीने पहले काव्या अपने भाई विनोद के साथ इसी मकान में रहती थी, लेकिन उसकी नौकरी इंदौर में लग गई। इसके बाद काव्या अकेली रहने लगी।

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