भोपाल। मुख्यमंत्री श्री कमल नाथ की अध्यक्षता में विधानसभा में हुई मंत्रि-परिषद की बैठक में शहरी विकास संस्थान (अर्बन डेव्हलपमेंट इंस्टीट्यूट) भोपाल में स्थापित करने की मंजूरी दी गई। संस्थान में शहरीकरण के सभी पहलुओं तथा चुनौतियों से संबंधित ज्ञान और हुनर सीखने तथा बहुउद्देश्यी उत्कृष्ट अकादमिक प्रशिक्षण दिया जायेगा।
मंत्रि-परिषद ने मुख्यमंत्री शहरी अधोसंरचना विकास योजना को निरंतर रखते हुए योजना के तृतीय चरण को लागू करने का निर्णय लिया। इसके लिए राज्य शासन ने 4 वर्षों के लिए 536 करोड़ रुपये की स्वीकृति प्रदान की। योजना में राज्य सरकार द्वारा नगरीय निकायों को 20 प्रतिशत अनुदान राशि तथा 80 प्रतिशत राशि ऋण प्राप्त कर उपलब्ध कराई जाएगी। योजनान्तर्गत नगरीय निकायों को मध्यप्रदेश अर्बन डेव्हपलमेंट कंपनी द्वारा वित्तीय/शासकीय संस्थाओं/राष्ट्रीयकृत, अनुसूचित अथवा निजी बैंकों/हुडको से ऋण प्राप्त कर उपलब्ध करवाया जाएगा।
मंत्रि-परिषद ने वित्तीय वर्ष 2017-18 एवं आगामी वर्षों के लिए मुख्यमंत्री स्वेच्छा अनुदान मद के लिए निर्धारित वार्षिक सीमा 150 करोड़ रूपये की। साथ ही, जिला भिण्ड में 6 जनवरी 2012 को हुई गोली चालन की घटना की न्यायिक जाँच के लिए गठित जाँच आयोग के प्रतिवेदन पर कार्यवाही करने के संबंध में मंत्रि-परिषद की समिति बनाने का निर्णय लिया।
पद सृजन की मंजूरी
मंत्रि-परिषद ने नये जिला निवाड़ी में जिला ई-गवर्नेंस सोसायटी की स्थापना के लिए जिला ई-गवर्नेंस प्रबंधक, लेखापाल, कार्यालय सहायक के एक-एक पद कुल तीन पदों का सृजन संविदा आधार पर करने का निर्णय लिया। इसी प्रकार जिला निवाड़ी में ई-दक्ष केन्द्र की स्थापना करते हुए प्रशिक्षक, प्रशिक्षण के एक-एक पद कुल दो पद संविदा आधार पर सृजन करने की मंजूरी दी गई। प्रदेश की जिला ई-गवर्नेंस सोसायटी अन्तर्गत 17 ग्रामीण तहसील में सहायक ई-गवर्नेंस मैनेजर के 17 पद संविदा आधार पर सृजन करने की स्वीकृति मंत्रि-परिषद ने दी।
शहरी क्षेत्र में बालाघाट एवं भिण्ड जिला चिकित्सालय का 300 से 400 बिस्तरीय, इन्दौर के खजराना एवं जबलपुर के नयागाँव में 100 बिस्तरीय सिविल अस्पताल की स्थापना, 30 बिस्तरीय सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र नलखेड़ा, सुसनेर, बदनावर, सरदारपुर, हरई और सोनकच्छ का 50 बिस्तरीय सिविल अस्पताल में उन्नयन/स्थापना की मंजूरी मंत्रि-परिषद द्वारा दी गई। मंत्रि-परिषद ने शहरी क्षेत्रों में स्वास्थ्य संस्थाओं के स्थापना प्रस्तावानुसार 470 पदों की स्वीकृति एवं भवन निर्माण, उपकरण/फर्नीचर संस्थापना की मंजूरी दी।
मंत्रि-परिषद द्वारा राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अन्तर्गत शहरी क्षेत्र में 4 शहरी सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों तथा 116 शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों की स्थापना पर प्रावधानित 1156 पदों की सक्षम स्वीकृति दी गई। साथ ही, प्रदेश में सड़कों के संधारण, ऑपरेशन, मेंटेनेंस एण्ड ट्रांसफर (ओ.एम.टी.) की योजना अन्तर्गत पब्लिक-प्रायवेट पार्टनरशिप (पी.पी.पी.) पद्धति से 12 सड़कों के निर्माण एवं संधारण की मंजूरी दी गई।