
सूत्रों के मुताबिक सरकार का टारगेट 31 जुलाई तक पुनर्वास का काम हर हाल में पूरा करने का है। इसको लेकर जिला प्रशासन के साथ पुलिस, नर्मदा घाटी विकास प्राधिकरण सहित अन्य अधिकारियों को लगाया गया है। बैठक में धार कलेक्टर श्रीमन शुक्ला और बड़वानी कलेक्टर तेजस्वी नायक इसका ब्योरा दिया।
कलेक्टरों ने बताया कि नर्मदा बचाओ आंदोलन वालों के समर्थन में स्थानीय स्तर पर मीडिया में खूब खबरें प्रकाशित हो रही हैं। इस पर मुख्य सचिव ने कहा कि आप भी अपने समर्थन में ऐसा करो। जिन लोगों ने पैकेज का पूरा पैसा और पट्टा ले लिया है, उन्हें पहले हटाया जाए। इसके लिए वाहन के साथ खाने-पीने का पूरा इंतजाम रखें। पुलिस बल की भी जितनी जरूरत हो, उतनी मिलेगी। पैसे की कोई कमी नहीं है। इसके बारे में मत सोचो।
बताया जा रहा है कि बारिश कम होने के कारण बांध को पूरा भरने में वक्त लगेगा, इसलिए पुनर्वास का काम 15 अगस्त तक खिंच सकता है। बैठक में प्राधिकरण के उपाध्यक्ष रजनीश वैश, अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक अजय शर्मा सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।
जुलानिया को चुप करा दिया
समीक्षा के दौरान जब धार और बड़वानी कलेक्टर अपनी बात रखने लगे तो अपर मुख्य सचिव राधेश्याम जुलानिया कुछ और बताने लगे। इसको लेकर मुख्य सचिव ने उनसे कहा कि बच्चों (कलेक्टर) को तो बोलने दो। इसके बाद दोनों अधिकारियों ने पुनर्वास के कामों को लेकर अब तक हुए कामों का ब्योरा दिया।