चमकने लगा है इंडियन क्रिकेट का नया सितारा, बॉलिंग स्पीड है 140

डेस्क। भारतीय क्रिकेट टीम के लिए एक नया सितारा चमकने लगा है। अब तक वो राजस्थान के भरतपुर तक सीमित था परंतु अब दुनिया को दिखने लगा है। ना है हिमांशु शर्मा। हिमांशु अंडर-19 राजस्थान की टीम के खिलाड़ी है। इसकी बॉलिंग स्पीड 140 है जो दुनिया के धुरंधर बॉलर्स की होती है। यदि अच्छी कोचिंग मिल गई तो हिमांशू बॉलिंग स्पीड के सारे वर्ल्ड रिकॉर्ड तोड़ सकता है। उसकी प्रतिभा को देखकर खेल के सामान बनाने वाली एक प्राइवेट कंपनी ने उसे स्पांसर कर दिया है। अब कंपनी आने वाले 3 साल तक हिमांशु का खर्चा उठाएगी और हिमांशू को इंटरनेशनल क्रिकेट के लिए तैयार किया जाएगा। 

कूच बिहार ट्राफी के लिए दो टेस्ट मैच हो चुके हैं। दूसरे चरण के लिए होने वाले दो मैचों के लिए गठित राजस्थान की टीम में फिर से हिमांशु शर्मा का चयन हुआ है। यह मैच 8 से 11 दिसंबर तक जयपुर के सवाई मानसिंह स्टेडियम में केरल की टीम से होगा तथा दूसरा टेस्ट मैच 17 से 20 दिसंबर तक बड़ौदा में गुजरात की बड़ोदरा टीम से होगा। हिमांशू तेज इनस्विंग बॉलर है। इनकी स्पीड 140 किलोमीटर प्रति घंटा है। चेलेंजर ट्राफी-19 में हिमांशु शर्मा ने दो मैचों में 10 विकेट लिए थे। इसमें दोनों इवनिंग में 5-5 विकेट लिए थे। इसे अपने आप में बड़ी उपलब्धि मानी जाती है।

ये हैं भारत के पांच सबसे तेज गेंदबाज
जवागल श्रीनाथ: लगभग एक दशक तक भारतीय तेज गेंदबाजी के अगुवा रहे श्रीनाथ ने भारतीय टीम को अपनी रफ्तार भरी गेंदबाजी के दम पर कई मौकों पर जीत दिलाई। जवागल श्रीनाथ ने साल 1995 से 1997 के मध्य कई बार 150किमी./घंटे की रफ्तार से गेंदबाजी की है। श्रीनाथ ने सबसे तेज 156 किमी./घंटे की रफ्तार से गेंद फेंकी थी। 

ईशांत शर्मा: महज 20 साल की उमर में भारतीय क्रिकेट टीम में जगह बनाने वाले ईशांत शर्मा ने अपने करियर की शुरूआत में तेज रफ्तार की गेंदों से क्रिकेट प्रेमियों को अपना मुरीद बनाया। ईशांत ने कई दफे 150 किमी./घंटे के आसपास रफ्तार की गेंदें फेंकी लेकिन एडीलेड टेस्ट में वे और भी घातक हो गए और अपने टेस्ट करियर की अबतक की सबसे तेज गेंद 152.6 किमी./घंटे फेंककर विपक्षी टीम के हौंसले पस्त कर दिए थे। 

वरुण अरोन: सन् 2011 में भारतीय टीम में पर्दापण करने वाले वरुन अरोन ने अपनी करियर की शुरुआत से ही तेज रफ्तार वाली गेंदबाजी की थी। वरुन वर्तमान में उन भारतीय गेंदबाजों में शामिल हैं जो लगातार 140 किमी./घंटे से ऊपर की रफ्तार में गेंदबाजी करते हैं। अरोन ने अपने करियर की सबसे तेज गेंद सन् 2014 में श्रीलंका के खिलाफ 152.5 किमी./घंटे के रफ्तार से फेंकी थी। 

उमेश यादव: महाराष्ट्र के उमेश यादव ने 2010 में भारतीय क्रिकेट टीम की ओर से अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में पर्दापण किया। उमेश लगातार 140 किमी./घंटे से ऊपर की रफ्तार में गेंदबाजी करने के लिए जाने जाते हैं। उमेश यादव ने श्रीलंका के खिलाफ एक बार 152.2 किमी./घंटे की रफ्तार से गेंद डाली थी।

आशीष नेहरा: आशीष नेहरा भले ही आज भारतीय टीम में शामिल होने के लिए जूझ रहे हैं। लेकिन एक समय उनका नाम भारत के स्पीडस्टरों में लिया जाता था। विश्व कप 2003 में नेहरा ने लगातार 150 किमी./घंटा के आसपास के रफ्तार की गेंदें फेंकी थी। इस दौरान उनकी सबसे तेज गेंद 149.7 किमी./घंटा मापी गई।
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