कोई लाभ नहीं होगा रवि-पुष्य नक्षत्र की शॉपिंग से

भोपाल। कारोबारियों ने हिन्दू धर्म और मान्यताओं को अपने फायदे के लिए यूज करना शुरू कर दिया है। पिछले दिनों पितृपक्ष में क्रेडाई ने प्रॉपर्टी मेला लगाकर कहा था कि 'पितृपक्ष में मकान खरीदना शुभ होगा।' अब रवि-पुष्य नक्षत्र के नाम पर 140 करोड़ का कारोबार कर डाला।

हम अपने पाठकों को बताना चाहते हैं कि यह खरीददारों के लिए बिल्कुल लाभकारी नहीं है। इस दिन की गई शॉपिंग कोई अतिरिक्त लाभ देने वाली नहीं है। यह बिल्कुल वैसा ही प्रभाव डालेगी जैसा कि मंगल या बुधवार को की गई शॉपिंग। दरअसल 27 अक्टूबर 2013 को आया रवि-पुष्य योग प्रभावी ही नहीं था।

मध्यप्रदेश के प्रख्यात ज्योतिष विशेषज्ञ डॉ आरएस अवस्थी के अनुसार ज्योतिष ग्रंथों में साफ उल्लेख है कि पुष्य योग और खासकर रवि एवं गुरुपुष्य योग साधना, रत्न या उप रत्नों तथा औषधियों को ग्रहण करने के लिए मूल्यवान और प्रभावी योग है। इसके अलावा किसी भी प्रक्रिया पर पुष्य योग प्रभावी नहीं होता। पुष्य नक्षत्र में विवाह आदि की अनुमति भी नहीं है, फिर घर या सोना चांदी की खरीदारी जैसी तो कोई बात ही नहीं हो सकती।

ज्योतिर्विद अशोक भारद्वाज के अनुसार पुष्य योग पूरी तरह से एक बिजनेस फंडा है। ये योग अखबारों में अचानक दिखाई देता है और दूसरे दिन अखबार विज्ञापनों से भर जाते हैं। अखबारों के लिए यह विज्ञापन का और कारोबारियों के लिए यह ग्राहकों को कुछ ना कुछ शॉपिंग करने के लिए प्रतिबद्ध करने का फंडा मात्र है परंतु अपना व्यापार बढ़ाने के लिए धार्मिक मान्यताओं को बदलने का प्रयास करना कतई उचित नहीं है।

यहां जिक्र करना जरूरी होगा कि रवि-पुष्य नक्षत्र पर शनिवार के बाद रविवार को भोपाल शहर के बाजारों में ग्राहकों का सैलाब उमड़ा। कारोबारियों के अनुसार शुभ मुहूर्त में खरीदी के प्रति लोगों में जोरदार उत्साह रहा। 13 घंटे के इस शुभ मुहूर्त में करीब 140 करोड़ के कारोबार का अनुमान है। शहर के सभी बाजारों में रीयल एस्टेट, आटोमोबाइल, उपभोक्ता सामान, सराफा, कपड़ा, कम्प्यूटर, मोबाइल गिफ्ट आइटम और वर्तन व कपड़ों की जमकर खरीद हुई। शनिवार को 60 करोड़ के कारोबार के बाद राजधानी के बाजारों रविवार को 80 करोड़ रुपए के कारोबार का अनुमान है। दीपोत्सव के लिए रवि-पुष्य नक्षत्र से खरीदी का श्रीगणेश हुआ, जो धनतेरस तक चलेगा। इस दौरान आटोमोबाइल्स, होम एप्लाइंसिस शो-रूम्स, मॉल, सराफा बाजार में इस खास दिन के लिए पहले से ही तैयारियां की गई थीं।

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