भोपाल। मध्यप्रदेश के दो जिलों में कुछ सहकारी संस्थाओं में धांधली की शिकायतें सही पाए जाने पर शासन ने चुनाव प्रक्रिया पर रोक लगा दी है। जिन संस्थाओं के चुनावों पर रोक लगाई गई उनकी कुल संख्या 127 है। रोक चुनाव के द्वितीय एवं तृतीय चरण पर लगाई गई है।
छतरपुर एवं टीकमगढ़ जिलों की कुछ सहकारी संस्थाओं में निर्वाचन के संबंध में प्राप्त अनियमितताओं की शिकायतों को सही पाये जाने पर आयुक्त सहकारिता एवं पंजीयक सहकारी संस्थाओं ने आगामी आदेश तक इन संस्थाओं की निर्वाचन प्रक्रिया पर रोक लगा दी है।
आयुक्त सहकारिता ने जारी आदेश में कहा है कि छतरपुर जिले में प्रथम चरण में 39 संस्थाओं का निर्वाचन करवाया गया है। इन संस्थाओं में आम-सभा के आयोजन एवं पदाधिकारी का चुनाव हो चुका है। जिले में द्वितीय चरण में 42 संस्थाओं के निर्वाचन के क्रम में आम-सभाओं के आयोजन हो चुके हैं। इस चरण में पदाधिकारियों का निर्वाचन 16 जनवरी तथा 32 संस्थाओं के निर्वाचन में 12 जनवरी को आम सभा का आयोजन एवं 19 जनवरी को पदाधिकारियों का निर्वाचन निर्धारित है। इस प्रकार जिले में द्वितीय एवं तृतीय चरण में निर्वाचन प्रक्रिया अभी पूर्ण नहीं हुई है। इस बात को दृष्टिगत रखते हुए जिले की 42 संस्थाओं, जिनमें द्वितीय चरण का एवं 32 संस्थाओं जिनमें तृतीय चरण का चुनाव होना है, में आगामी आदेश तक निर्वाचन प्रक्रिया को स्थगित कर दिया गया है।
टीकमगढ़ जिले में प्रथम चरण में 34 संस्थाओं के निर्वाचन के अंतर्गत 3 जनवरी को आम सभा एवं 10 जनवरी को पदाधिकारियों का निर्वाचन हो चुका है। द्वितीय चरण में 30 संस्थाओं में 8 जनवरी को आम सभाएँ हो चुके हैं। इस चरण में पदाधिकारियों का निर्वाचन 16 जनवरी को निर्धारित है। जिले में तृतीय चरण में 23 संस्थाओं के निर्वाचन में 12 जनवरी को आम सभा का आयोजन एवं 19 जनवरी को पदाधिकारियों का निर्वाचन निर्धारित है। इस प्रकार जिले में द्वितीय एवं तृतीय चरण की निर्वाचन प्रक्रिया अभी पूरी नहीं हुई है। आयुक्त सहकारिता ने द्वितीय चरण की 30 सहकारी संस्थाओं जिनमें 16 जनवरी को और तृतीय चरण की 23 संस्थाओं, जिनमें 19 जनवरी को पदाधिकारियों का निर्वाचन होना था, की निर्वाचन प्रक्रिया आगामी आदेश तक स्थगित कर दी है।