भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 83 एवं भारतीय दण्ड संहिता, 1860 की धारा 498 में हमने आपको बताया था कि किसी विवाहित स्त्री को फुसलाकर भगा कर ले जाना अपराध होता है, लेकिन किसी 18 वर्ष या उससे अधिक उम्र की अविवाहित स्त्री को विवाह या आदि अपकृत्य करवाने के लिए उसकी मर्जी के खिलाफ भगाकर ले जाना एक नई धारा के अंतर्गत अपराध होगा जानिए :-
भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 86 एवं भारतीय दण्ड संहिता, 1860 की धारा 366 की परिभाषा
अगर कोई पुरुष किसी महिला को उसकी इच्छा के विरुद्ध भगाकर या अपहरण करके ले जाता है वह BNS की धारा 86 एवं IPC की धारा 366 के अंतर्गत दोषी होगा।
इस अपराध के लिए आवश्यक तत्व है:-
1. स्त्री का अपहरण अवैध तरीके से विवाह करने के लिए किया गया हो।
2. स्त्री की उम्र 18 वर्ष या उससे अधिक हो और स्त्री अविवाहित हो।
3. स्त्री का अपहरण अवैध शारीरिक संबंध के लिए किया गया हो।
4. स्त्री का अपहरण भय या लोभ देकर किया गया हो।
Bharatiya Nyaya Sanhita Section 86 or Indian Penal Code Section 376 Provision of punishment
यह अपराध संज्ञेय एवं अजमानतीय होते हैं अर्थात पुलिस थाने में इस अपराध की एफआईआर दर्ज होती है, या अगर एफआईआर दर्ज न होने की स्थिति मे पीड़ित महिला या उसके परिवार वाले सेशन कोर्ट में परिवाद (शिकायत) भी दर्ज करवा सकते हैं। इन अपराध की सुनवाई सेशन कोर्ट द्वारा की जाती है। स अपराध के लिए अधिकतम दस वर्ष की कारावास और जुर्माने से दण्डित किया जा सकता है। लेखक ✍️बी.आर. अहिरवार (पत्रकार एवं विधिक सलाहकार होशंगाबाद)। Notice: this is the copyright protected post. do not try to copy of this article)
डिस्क्लेमर - यह जानकारी केवल शिक्षा और जागरूकता के लिए है। कृपया किसी भी प्रकार की कानूनी कार्रवाई से पहले बार एसोसिएशन द्वारा अधिकृत अधिवक्ता से संपर्क करें।
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