फलौदी। राजस्थान के जोधपुर के समीप स्थित सांवरीज गांव के लोग पूरी रात दहशत में रहे। यहां हिरण के शिकार की अफवाह उड़ी तो गुस्साए लोगों ने गांव घेरकर कई दलितों के घर फूंक दिए। रात करीब 9 बजे फलौदी पुलिस घटना को सूचना मिली तो थानाधिकारी सुरेंद्र कुमार व अन्य की टीम मौके पर पहुंची। तब तक मौके पर तकरीबन 400 लोगों की भीड़ जमा हो चुकी थी।
पुलिस ने पीड़ित परिवार के लोगों को बाहर निकालने का प्रयास किया तो भीड़ ने पुलिस पर भी पथराव किया। इससे थानाधिकारी सहित तीन पुलिस कर्मचारियों को चोटें आईं। पुलिस ने बड़ी मुश्किल से पीड़ित परिवार के सभी 27 सदस्यों को वहां से बाहर निकाला। मामले की जानकारी मिलने पर एसपी (ग्रामीण) हरेंद्र कुमार महावर, एएसपी (फलौदी) सत्येंद्र पाल सिंह, डीएसपी सायर सिंह व अन्य अधिकारी देर रात मौके पर पहुंचे। जबकि कलेक्टर प्रीतम बी यशवंत सोमवार सुबह घटना स्थल का निरीक्षण करने पहुंचे।
तत्पश्चात उन्होंने एडीएम आरडी बारठ के साथ फलौदी के राइका बाग इलाके में स्थित भील समाज के न्याति नोहरे में पीड़ित परिवार के लोगों से मुलाकात कर पूरे घटनाक्रम की जानकारी ली।घटना के संबंध में सांवरीज निवासी भोजाराम की रिपोर्ट पर फलौदी पुलिस ने महिपाल भादू, प्रकाश विश्नोई, बक्सीराम विश्नोई, प्रकाश विश्नोई, हड़मान राम, महिपाल उदाणी सहित 43 लोगों को नामजद किया है। मामले की जांच ओसियां उप अधीक्षक को सौंपी गई है। इस संबंध में कलेक्टर ने मीडियाकर्मियों से बातचीत करते हुए कहा कि पीड़ित परिवार को पूरी सुरक्षा देकर उनका पुनर्वास किया जाएगा इस प्रकरण में किसी भी आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
पुलिस के अनुसार रविवार को सांवरीज के पास एक हिरण मिला, जिसके पैर में कुड़की लगी थी वन्यजीव प्रेमियों ने इसे फलौदी स्थित रेस्क्यू सेंटर पहुंचाया। इसके बाद किसी ने हिरण के शिकार होने की अफवाह उड़ा दी और लोग आक्रोशित हो गए। जहां हिरण मिला था उससे करीब दो-ढाई किमी दूर भोजाराम भील के परिवार पर शिकार का शक करते हुए भीड़ ने ढाणी को घेर लिया।
कुछ ही देर में झोपडिय़ों को आग लगा दी। भील समाज के सचिव जीवनराम भील, पूर्व सरपंच फूलाराम भील, दलित अधिकार अभियान के सचिव अशोक कुमार, गोरधन जयपाल, पंस सदस्य उम्मेदाराम भील, बलाराम भील, जयगोपाल मेघवाल ने कलेक्टर व एसपी (ग्रामीण) से मुलाकात कर आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्यवाही और पीड़ित परिवार को राहत दिलाने की मांग की है।
वहीं दलित आदिवासी मानवाधिकार मंच के संयोजक जीवनराम भील ने 10 जून को भील समाज के न्याति नोहरा में महापड़ाव की घोषणा की है। ढाणी पर हमले में पुरखाराम (35) पुत्र पाबूराम, कानाराम (50) पुत्र मूलाराम, रामाराम (55) पुत्र भोजाराम, नारायणराम (35) वर्ष पुत्र रुघाराम व जेठाराम (30) पुत्र नारायणराम गंभीर रूप से घायल हो गए। इन्हें फलौदी अस्पताल में प्राथमिक उपचार के बाद जोधपुर रेफर कर दिया गया। गरीब परिवार का आशियाना उजड़ा, तो एसडीएम राकेश कुमार ने स्थानीय व्यापार संघ के अध्यक्ष राधाकिशन थानवी सहित अन्य से बातचीत की।व्यापार संघ ने दलित परिवार को तात्कालिक राहत पहुंचाने के लिए 21 हजार रुपए पीड़ित परिवार को दिए।