पेंशनरों द्वारा जीवन प्रमाण भरने की नई व्यवस्था | EMPLOYEE NEWS

नई दिल्ली। कर्मचारी पेंशन योजना, 1995 में दिये गए प्रावधान के अनुसार कर्मचारियों को प्रत्येक वर्ष नवंबर माह में जीवन प्रमाण को जमा करना होता है। वर्ष 2016 से पेंशनरों के लिए व्यक्तिगत रूप से पहचान प्रमाण के सत्यापन के लिए जीवन प्रमाण को डिजिटली जमा करने की सुविधा दी गई है। पेंशनरों द्वारा नवंबर माह में जीवन प्रमाण जमा करने में आने वाली मुश्किलों के निवारण के लिए निम्न निर्णय लिये गये हैं।

जिन पेंशनरों ने गत वर्ष जीवन प्रमाण डिजिटली जमा किया है उन्हें चालू वर्ष में इसे जमा करना आवश्यक नहीं है। यदि उन्हें इसे जमा करने में किसी परेशानी का सामना करना पड़ता है तो वो भरा हुआ जीवन प्रमाण पत्र फॉर्म उस बैंक में जमा कर सकते है जहां से वे पेंशन प्राप्त कर रहे है अथवा अपनी सुविधानुसार डिजिटल रूप में भी भर सकते हैं।

जिन पेंशनरों ने डिजिटल जीवन प्रमाण कभी नहीं भरा है, उन्हें इसे नवंबर माह में जमा करना चाहिए। डिजिटल जीवन प्रमाण जमा करने की यह सुविधा ईपीएफओ, पेंशन संवितरित बैंक और सार्वजनिक सेवा केन्द्र के सभी कार्यालयों में दी गई है। डिजिटल जीवन प्रमाण की उपलब्धता ईपीएफओ के यू.एम.ए.एन.जी. (UMANG) ऐप पर की गई है।

जीवन प्रमाण को उन पेंनशरों से स्वीकार किया जा सकता है जिनके पास इसे डिजिटल जमा न करने का यथार्थ कारण है। पेंशनरों को जीवन प्रमाण जमा करते समय यह कारण बताना होगा।उपरोक्त निर्देश संबंधित जानकारी के अनुपालन के लिए इसे क्षेत्रीय कार्यालयों में पहले से ही भेज दिए गए है ताकि किसी भी पेंशनभोगी को इस संबंध में कोई परेशानी न हो।

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