दीवालिया होने वाला है पाकिस्तान, सेना भी घबराई

नई दिल्ली। अमेरिका और चीन से पैसे लेकर भारत को तंग करने वाला सुपारी बदमाश पाकिस्तान अब दीवालिया होने जा रहा है। उसके सिर पर 58 अरब डॉलर का विदेशी कर्ज है। यदि उसने नियम शर्तों के अंतर्गत इसे समय पर चुकता नहीं किया तो कर्जदार पाकिस्तान के प्राकृतिक संसाधनों पर कब्जा कर लेंगे। कुछ विशेष प्रकार के कारोबार या हो सकता है टैक्स अपने नाम कर लें जैसा कि जर्मनी में हुआ था। हालात यह बन गए हैं कि अब खाली खजाना देखकर परमाणु हथियारों की धमकी देने वाले पाकिस्तानी सेना प्रमुख भी घबराए हुए हैं और आर्थिक मामलों की बात करने लगे हैं। 

पाक आर्मीचीफ कमर जावेद बाजवा ने कराची में आयोजित सेमिनार ‘इंटरप्ले ऑफ इकोनॉमी एंड सिक्युरिटी’ विषय पर एक परिचर्चा में बोलते हुए यह भी कहा कि, ‘‘हमारे बाहरी मोर्चे पर लगातार बदलाव जारी है। पूर्व में आक्रामक भारत और पश्चिम में एक अस्थिर अफगानिस्तान के साथ, क्षेत्र ऐतिहासिक बोझ एवं नकारात्मक प्रतिस्पर्धा के कारण बंधक बना हुआ है।’’ उन्होंने कहा कि हालांकि, अफगानिस्तान की सीमा पर शांति के लिए हम राजनयिक, सैन्य और आर्थिक स्तर पर कई प्रयास कर रहे हैं। एफएटीए इसका सबसे बड़ा उदाहरण है, जिसके जरिए अफगानिस्तान में मानव सुरक्षा को अभूतपूर्व बढ़ावा मिला।

बढ़ाना होगा टैक्स
देश की अर्थव्यवस्था पर बात करते हुए जनरल बाजवा ने पाकिस्तान पर चढ़े भारी कर्ज को लेकर चिंता जाहिर की। उन्होंने कहा कि देश प्रगति कर रहा है, लेकिन इस पर चढ़ा कर्ज आसमान छू रहा है। जीडीपी की तुलना में टैक्स का अनुपात बेहद कम है, जिसे बढ़ाने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि अपने भविष्य को सुरक्षित बनाने के लिए हमें टैक्स बेस बढ़ाना होगा। इसके साथ ही वित्तीय अनुशासन और आर्थिक नीतियों की निरंतरता को भी सुनिश्चित करना होगा।

जानकारी के अनुसार, पाकिस्तान का विदेशी कर्ज और देनदारियां करीब 58 अरब डॉलर है। बाजवा ने कहा कि देश को नुकसान पहुंचाने के लिए पाकिस्तान के दुश्मनों ने वित्तीय केंद्र कराची को अपना टारगेट बनाया और उसे अस्थिर करने की कोशिश की। उन्होंने कहा कि अधिकारियों ने कराची में शांति को सर्वोच्च प्राथमिकता दी है और चाहते हैं कि शहर अपने पुराने आर्थिक विकास में लौट आए।

#buttons=(Accept !) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Accept !