दिल्ली के जंतर-मंतर पर सभी तरह के विरोध-प्रदर्शनों पर रोक

नई दिल्ली। नेशनल ग्रीन टीब्यूनल (NGT) ने दिल्ली के जंतर-मंतर पर सभी तरह के विरोध-प्रदर्शनों पर रोक लगाने का ऑर्डर दिया। ट्रीब्यूनल ने गुरुवार को एक पिटीशन पर सुनवाई करते हुए कहा कि दिल्ली सरकार, एनडीएमसी और दिल्ली पुलिस फौरन जंतर-मंतर रोड से लाउड स्पीकर-पब्लिक एड्रेस सिस्टम हटाए। इनसे नॉइज पॉल्यूशन होता है, जो यहां रहने वाले लोगों की जिंदगी में दखल जैसा है। साथ ही एनजीटी ने कार्रवाई को लेकर 5 हफ्ते में रिपोर्ट भी मांगी है। बता दें कि कनॉट प्लेस के पास स्थित इस रोड का इस्तेमाल आमतौर पर देश के तमाम समाजिक और राजनीतिक संगठन प्रदर्शन के लिए करते हैं। 

लोगों को शांति से जीने का हक है: NGT
एनजीटी के चेयरपर्सन जस्टिस आरएस राठौर की बेंच ने कहा कि नई दिल्ली म्युनिसिपल कॉरपोरेशन (NDMC) धरना-प्रदर्शन के लिए लगाए गए लाउड स्पीकर्स को फौरन जंतर-मंतर रोड से हटाए। साथ ही दिल्ली सरकार और पुलिस सभी तरह के धरना, प्रदर्शन, आंदोलन, सभा, जनसभा और रैली पर रोक लगाए।

जंतर-मंतर रोड पर धरने पर बैठे सभी प्रदर्शनकारियों को तत्काल हटाकर रामलीला ग्राउंड, अजमेरी गेट में शिफ्ट किया जाए। इस इलाके में लगातार प्रदर्शनों और इनमें इस्तेमाल हो रहे लाउड स्पीकर्स से नॉइज पॉल्यूशन फैल रहा है। यह पॉल्यूशन कंट्रोल के नियमों का वॉयलेशन है। इस इलाके के लोगों को भी शांति से जीने का हक है। वो भी चाहते हैं कि उनका घर ऐसी जगह हो, जहां वातावरण पॉल्यूशन फ्री हो।

प्रदर्शनों पर रोक लगाने के लिए दायर की गई थी पिटीशन
ट्रीब्यूनल ने यह फैसला वरूण सेठी की ओर से दायर की गई पिटीशन पर दिया। इसमें कहा गया था कि कई सामाजिक और राजनीतिक संगठनों की ओर से जंतर-मंतर रोड पर प्रदर्शन करने की वजह से काफी नॉइज पॉल्यूशन फैल रहा है। एक ही इलाके में लगातार धरना-प्रदर्शन लोगों के शांति और सम्मान के साथ जीने के हक का वॉयलेशन है। उन्हें भी अच्छी तरह सोने, बेहतर जिंदगी जीने का अधिकार है।

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