नई दिल्ली। दलित का अपमान मामले में सिंधिया लगातार हमलावर हैं और भाजपा बैकफुट पर आती नजर आ रही है। संसद में सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भाजपा के 2 सांसदों वीरेंद्र कुमार और मनोहर ऊंटवाल के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का प्रस्ताव पेश किया। साथ ही चुनौती दी कि यदि पूरी भाजपा मिलकर भी उन्हे दलित विरोधी साबित कर दे तो वो संसद से इस्तीफा देकर चले जाएंगे। इससे पहले इसी मामले में सिंधिया ने भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष नंदकुमार सिंह चौहान का मानहानि का नोटिस भेजा है।
सांसद ज्योतिरादित्य ने बीजेपी के दो सांसदों द्वारा उनके खिलाफ की गई दलित विरोधी टिप्पणी पर सार्वजनिक तौर पर बिना शर्त माफी मांगने की मांग की। मध्यप्रदेश के गुना से सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भाजपा के दो सांसद वीरेंद्र कुमार और मनोहर ऊंटवाल के खिलाफ सदन में एक विशेषाधिकार हनन का प्रस्ताव पेश किया है। सिंधिया ने आरोप लगाया है कि भाजपा सांसद उन्हें बदनाम करने के लिए बयान दे रहे हैं। सिंधिया ने उन पर लगाए गए आरोपों के दावों को साबित करने की भी चुनौती दी है। इससे पहले उन्होंने भाजपा के मध्य प्रदेश के प्रमुख नंदकुमार सिंह चौहान को कानूनी नोटिस भी जारी किया था।
मालूम हो कि भाजपा ने आरोप लगाया था कि हाल ही में कांग्रेस नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया मध्यप्रदेश के अशोकनगर में ट्रामा सेंटर का उद्घाटन करने गए थे। भाजपा ने एक चाल चली और स्थानीय विधायक को सिंधिया से पहले ट्रामा सेंटर का लोकर्पण करने भेज दिया। इस तरह ट्रामा सेंटर का एक दिन पहले विधायक जाटव ने लोकार्पण किया, दूसरे दिन सिंधिया ने किया। भाजपा ने आरोप लगाया है कि लोकार्पण से पहले सिंधिया ने कार्यक्रम स्थल को गंगाजल से पवित्र करवाया। यह दलितों का अपमान है। जबकि सिंधिया ने दावा किया है कि कार्यक्रम स्थल में गंगाजल जैसा कोई पदार्थ ही नहीं था।