वादों का गुलदस्ता मिला: बिजली कर्मचारियों की हड़ताल खत्म | EMPLOYEE

भोपाल। बिजली संविदा कर्मचारियों की अनिश्चित कालीन हड़ताल के बाद सरकार ने आज वार्ता के लिए बुलाया था। ऊर्जामंत्री पारस चंद्र जैन, सहित ऊर्जा विभाग के अधिकारियों के साथ बिजली संविदा कर्मचारियों के प्रतिनिधि मण्डल की चर्चा हुई। प्रतिनिधि मण्डल में संविदा कर्मचारी अधिकारी महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष रमेश राठौर एवं युनाईटेड फोरम फार पावर एम्पलाईज के संयोजक व्ही.के.एस परिहार सहित लोकेन्द्र श्रीवास्तव, स्वर्णलता नाग, रितु चौबे, प्रदीप द्विवेद्वी जी.के. वैष्णव, अनीस सिघई, सुनील कुरेले, संत कुमार तिवारी, आदि थे।

बैठक की अध्यक्षता ऊर्जा मंत्री पारसचंद्र जैन कर रहे थे। कर्मचारी कल्याण समिति के अध्यक्ष रमेश चंद्र शर्मा सहित ऊर्जा विभाग के सभी बड़े अधिकारी वहां मौजूद थे। जिसमें ऊर्जा विभाग के अपर मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैस, बिजली विभाग के प्रबंधक संचालक संजय शुक्ला, विशेष कर्तव्यस्थ अधिकारी मुकुल धारीवार आदि। प्रतिनिधि मण्डल ने बिजली विभाग के संविदा कर्मचारियों को नियमित किये जाने, निष्कासित कर्मचारियों को वापिस लिये जाने, आऊटसोर्सिंग कर्मचारियोें का शोषण बंद किये जाने, आऊट सोर्सिंग से बिचौलियों को समाप्त करते हुये सीधे बिजली कम्पनी के माध्यम् से वेतन भुगतान किये जाने, आंदोलन के दौरान मंत्री जी के आह्वान पर हड़ताल समाप्त कर अपने काम पर लौटे आऊट सोर्सिंग कर्मचारी जिनको ठेकेदार द्वारा कार्य स्थल पर कार्य नहीं करने दिया जा रहा उनको ज्वाईन कराये जाने की मांग की। 

अधिकारियों ने कहा है कि हम किस आधार पर आपको नियमित कर दें, आपकी नियुक्ति संविदा पर की गई थी और मप्र में कहीं पर भी संविदा कर्मचारियों को नियमित नहीं किया गया है। महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष रमेश राठौर, युनाइटेड फोरम के संयोजक व्ही.के.एस परिहार ने कहा कि स्कूल शिक्षा विभाग में संविदा शिक्षकों को तीन वर्ष पश्चात् नियमित कर अध्यापक बना दिया जाता है, आयुष विभाग में संविदा कर्मचारियों को नियमित किया गया है। महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष रमेश राठौर ने मंत्री पारस चंद्र जैन और ऊर्जा विभाग के अधिकारियों को आयुष विभाग के कर्मचारियों को नियमित किये जाने सबंधी आदेश की प्रति दिखाई, तथा साथ में पर्यावरण एवं नियोजन संगठन मे, कर्मकार कल्याण मण्डल में, स्कूल शिक्षा विभाग में सरंपचों के द्वारा नियुक्त हुये तथा व्यापम की परीक्षा में अनुत्तीर्ण हुये गुरूजियों को सीधे अध्यापक बना दिये जाने सबंधी,, पंचायत विभाग में पंचायत कर्मियों, शिक्षाकर्मियों को सीधे नियमित किये जाने सबंधी आदेश भी सबके सामने बताये। 

तथा ऊर्जा मंत्री पारस चंद्र जैन को यह भी बतलाया कि जब आप शिक्षामंत्री थे तभी व्यापम की पात्रता परीक्षा में फेल हुये गुरूजियों को सीधे संविदा शिक्षक बनाकर उनका संविलयन अध्यापक पर कर दिया गया। जब सरकार सरंपचों के द्वारा नियुक्त बिना किसी चयन परीक्षा के माध्यम् से रखे गये गुरूजी,, पंचायत कर्मी, शिक्षाकर्मियों को नियमित कर सकती है। तो बिजली संविदा कर्मचारी तो व्यापम एवं एम.पी.आन लाईन की परीक्षा देकर उत्तीर्ण होकर नियुक्त हुये हैं तो उनको नियमित करने में क्या आपित्त है। 

इस पर अधिकारियों और मंत्री जी ने नियमितकरण के लिए समय मांगा महासंघ तथा यूनाइटेड फोरम ने दो माह का समय दिया है कि हम दो माह का समय देते हैं आप नियमित करने सबंधी कोई नीति बनाईए। निष्कासित कर्मचारियों की वापसी के लिए शीध्र कार्यवाही करने का कहा इस पर विभाग सहमत हुआ । आऊट सोर्सिंग के मामले में प्रतिनिधि मण्डल ने मंत्री और अधिकारियों को अवगत कराया कि ठेकेदार से लेकर जिले के विभागीय अधिकारी भी आऊट सोर्सिंग कर्मचारियों का शोषण कर रहे हैं। आंदोलन से लौटकर वापस गये हमारे आऊट सोर्सिंग के कर्मचारियों को वापस कार्य स्थल पर ज्वाईन नहीं कराया जा रहा है। 

इस पर मंत्री पारसचंद्र जैन एवं अधिकारियों ने सूची मांगी है कि किन कर्मचारियों को ज्वाईन नहीं कराया जा रहा है उनकी सूची दें। हम प्रयास करेंगे कि किसी की नौकरी नहीं जाए और उनके घर का चूल्हा नहीं बुझे और उनका शोषण नहीं किया जाए तथा शोषण रोकने की उपाय करेंगें। संविदा कर्मचारी अधिकारी महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष रमेश राठौर तथा युनाइटेड फोरम के संयोजक व्ही.के.एस परिहार ने कहा है कि यदि दो माह में हमारी समस्त मांगों का निराकरण नहीं किया गया तो पुनः हम आंदोलन करने के लिए सड़कों पर उतरेंगें। 

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