बड़े नोटों से बनवा लिए लाखों के रेल टिकट, अब कैंसल करवा लेंगे

ग्वालियर। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ऐलान किया है कि 11 नवम्बर तक रेलवे स्टेशन, अस्पताल, पेट्रोल पंप, मेडिकल स्टोर, बस स्टैंड पर 500 और 1000 के नोट चल सकते हैं। लोगों ने इस राहत का फायदा उठाया। जिन लोगों के पास ऐसे लाखों रुपए थे, उन्होंने इसे ठिकाने लगाने की नई तरकीब ही इजाद कर ली।

रेलवे स्टेशन पर लोग फरवरी, मार्च तक के टिकट बनवाने पहुंच गए। फर्स्ट क्लास के टिकट लोगों ने बनवाए। इसके चलते रेलवे स्टेशन के रिजर्वेशन काउंटर पर सुबह से ही भीड़ लग गई। रेलवे अधिकारी तो तब सकते में आ गए जब 20 हजार से लेकर सवा लाख रुपए तक के टिकट बनवाने लोग पहुंच गए।

इतनी बड़ी रकम में टिकट बनवाने जब लोग पहुंचे तो तत्काल वरिष्ठ अधिकारियों को अवगत कराया गया। यह जानकारी रेल मंत्रालय तक पहुंची तो तत्काल वहां से एक अरजेंट सर्कुलर देशभर की 16 रेलवे जोन को जारी किया गया। इस सर्कुलर में स्पष्ट कर दिया गया कि 20 हजार से अधिक के अगर कोई टिकट बनवाने आता है तो उसे पेन कार्ड की फोटोकॉपी देनी होगी।

दोपहर 2 बजे के बाद जिन लोगों ने 20 हजार रुपए से अधिक के टिकट बनवाए, उनसे पेन कार्ड की फोटोकॉपी लेने के बाद ही टिकट सौंपा गया। ग्वालियर रेलवे स्टेशन पर ऐसे एक या दो मामले नहीं बल्कि दर्जनों मामले सामने आए। ऐसा नहीं की इन टिकटों पर यह लोग यात्रा करेंगे। रिजर्वेशन काउंटर पर टिकट बनवाते समय तो कुछ लोग खुद ही कहते नजर आए कि कुछ दिन बाद टिकट कैंसल करा लेंगे, जिससे रिफंड मिल जाएगा। इस तरह सिर्फ कैंसलेशन चार्ज कटेगा और पैसा हमारे पास आ जाएगा। इस तरह से लोगों ने रेलवे टिकट के जरिए ही 500 और 1000 के नोट खपा दिए।

रिजर्वेशन काउंटर पर आए ये मामलेः
एक युवक ने दिल्ली से चैन्नई के फर्स्ट एसी में चैन्नई राजधानी से फरवरी के लिए और दिल्ली से हावड़ा के लिए फर्स्ट एसी में टिकट बनवाए। इन टिकटों की कुल रकम 1.12 लाख रुपए थी।

एक व्यापारी प्लेटफॉर्म-4 स्थित रिजर्वेशन काउंटर पर पहुंचा। इस यात्री ने उत्कल एक्सप्रेस के सेकंड एसी में दिल्ली से भुवनेश्वर और भुवनेश्वर से दिल्ली के टिकट बनवाए। 10 यात्रियों का रिजर्वेशन कराया। इस तरह उसके टिकट 68,780 रुपए के बने।

इसी तरह एक और युवक टिकट बनवाने पहुंचा। इसके टिकट की कुल कीमत 39,989 रुपए थी। तब तक रेल मंत्रालय से सर्कुलर आ चुका था। इनके टिकट देने से बुकिंग क्लर्क ने इंकार कर दिया। उनसे पेन कार्ड मांगा गया। इसके बाद ही टिकट देने की बात कही गई।

सबसे ज्यादा बिके फर्स्ट एसी के टिकटः
रेलवे अधिकारियों के अनुसार बुधवार को सबसे ज्यादा फर्स्ट एसी के टिकट बनवाए गए। इसमें सभी टिकट लंबी दूरी के थे। खास बात यह थी कि यह टिकट जनवरी, फरवरी, मार्च तक के थे। इससे साफ है कि यह टिकट इन लोगों ने 500 और 1000 के नोट खपाने के लिए बनवाए।

शाम तक 32 लाख रुपए के टिकट बिकेः
बुधवार को टिकटों की रिकॉर्ड बिक्री हुई। एक दिन में टिकट बिक्री का आंकड़ा 32 लाख रुपए तक शाम को ही पहुंच गया था। इसके बाद काउंटिंग जारी थी और लगातार रिजर्वेशन हो रहे थे। 32 लाख में से 25 लाख रुपए के रिजर्व्ड टिकट थे। इसके अलावा जनरल और प्लेटफॉर्म टिकट बिके।

बंद करना पड़ा काउंटर, पहले 100 रुपए वालों को बांटा टिकटः
जनरल टिकट काउंटर पर तो रात से ही अफरा-तफरी की स्थिति बनी रही। जब से 500 और 1000 के नोट न चलने की घोषणा हुई, उसके बाद से ही लोग 500 और 1000 के नोट लेकर टिकट के लिए आने लगे थे। बुधवार सुबह से तो यह स्थिति बन गई कि कई बार टिकट काउंटर बंद करना पड़ा। आरपीएफ-जीआरपी की निगरानी में टिकट बांटे गए। इसके बाद सबसे पहले 100, 50,10 रुपए के नोट वाले यात्रियों को टिकट बांटने का अनाउंसमेंट हुआ। जब टिकट काउंटर पर करंसी आई तब 500 और 1000 रुपए वालों को टिकट दिए गए। दिनभर यही हंगामा चलता रहा।

विजिलेंस ने मंगाई सीसीटीवी फुटेजः
रेलवे के जनरल टिकट काउंटरों से कैश एक्सचेंज करने की शिकायत रेलवे बोर्ड तक पहुंच गई। रेलवे बोर्ड को शिकायत मिली कि बीती रात कैश एक्सचेंज किया गया है। 100, 50, 20,10 के नोट एक्सचेंज कर 500, 1000 के नोट मिलाए गए। इस शिकायत के बाद विजिलेंस ने तत्काल सभी वाणिज्य अधिकारियों को मैसेज जारी किया। जिसमें टिकट काउंटर के अंदर के सीसीटीवी फुटेज मंगवाए। कल रात से लेकर बुधवार पूरे दिन की रिकॉर्डिंग मंगवाई है। साथ ही नोटों की जानकारी मंगवाई है। ( पढ़ते रहिए bhopal samachar हमें ट्विटर और फ़ेसबुक पर फ़ॉलो भी कर सकते हैं।)

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